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शराब कारोबारी का पीएसओ 50 लाख लेकर भागा, पुलिस ने पकड़ा तो बोला- हिमाचल में फलों का बाग लगाना चाहता था

गुरुग्राम में धोखाधड़ी का बड़ा मामला सामने आया है. यहां शराब दुकान के मालिक का निजी सुरक्षा अधिकारी 50 लाख रुपये कैश लेकर फरार हो गया. शिकायत के बाद पुलिस ने केस दर्ज कर आरोपी को गिरफ्तार कर लिया है. उसके पास से 49.50 लाख रुपये बरामद किए गए. आरोपी बीते 10 वर्षों से पीएसओ के रूप में काम कर रहा था.

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पुलिस ने आरोपी को किया अरेस्ट. (Photo: Representational)
पुलिस ने आरोपी को किया अरेस्ट. (Photo: Representational)

गुरुग्राम पुलिस ने वाइन शॉप के मालिक के पर्सनल सिक्योरिटी ऑफिसर (पीएसओ) को 50 लाख रुपये लेकर फरार होने के मामले में गिरफ्तार किया है। आरोपी की पहचान जय प्रताप सिंह के रूप में हुई है, जो उत्तर प्रदेश के मैनपुरी जिले के बेलहर का रहने वाला है। पुलिस ने उसके पास से 49.50 लाख रुपये की राशि बरामद कर ली है, जबकि शेष 50 हजार रुपये उसने फरारी के दौरान खर्च कर दिए थे.

एजेंसी के अनुसार, यह घटना 10 दिसंबर की है. सेक्टर-57 स्थित अपने ऑफिस से शराब दुकान के मालिक ने जय प्रताप सिंह को 50 लाख रुपये एक कार में दिल्ली भेजे थे. उसे यह रकम दिल्ली में एक परिचित को सौंपनी थी. जय प्रताप सिंह पिछले करीब 10 साल से वाइन शॉप मालिक के यहां पीएसओ के रूप में काम कर रहा था.

शिकायत में कहा गया है कि आरोपी ने कहा था कि वह फरीदाबाद के सूरजकुंड के पास है, लेकिन कुछ समय बाद उसका मोबाइल बंद हो गया. जब काफी देर तक कैश दिल्ली नहीं पहुंचा और आरोपी से संपर्क नहीं हो सका, तो वाइन शॉप के मालिक ने सेक्टर-50 थाना पुलिस से शिकायत की.

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जांच के दौरान इंस्पेक्टर नरेंद्र कुमार शर्मा के नेतृत्व में पुलिस टीम को अहम सुराग मिले. पुलिस को सूचना मिली कि आरोपी अपना सामान लेने के लिए वापस गुरुग्राम आ सकता है. इसी सूचना के आधार पर सेक्टर-56 इलाके से उसे गिरफ्तार कर लिया गया.

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पूछताछ में आरोपी ने स्वीकार किया कि उसने कार को दिल्ली में बत्रा अस्पताल के पास नगर निगम (एमसीडी) की पार्किंग में खड़ा कर दिया था. उसने उसमें से 50 हजार रुपये कैश निकाल लिए और बाकी 49.50 लाख रुपये कार की डिक्की में छिपा दिए. इसके बाद वह हरिद्वार और ऋषिकेश चला गया. पहचान छिपाने के लिए उसने अपना मोबाइल तोड़कर फेंक दिया. ट्रैवल व अन्य खर्चों में करीब 50 हजार रुपये खर्च कर दिए.

पुलिस को आरोपी ने यह भी बताया कि वह इस रकम से हिमाचल प्रदेश में एक फलों का बाग लगाना चाहता था. आरोपी को कोर्ट में पेश किया गया, जहां से उसे न्यायिक हिरासत में भेज दिया गया है.

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