लॉकडाउन में दर्शक जमकर रामानंद सागर की रामायण देख रहे हैं लेकिन 12 साल पहले 21 जनवरी 2008 में इमैजिन टीवी पर भी आनंद सागर का सीरियल रामायण आया था जो इन दिनों चैनल दंगल पर फिर से दिखाया जा रहा है. इस रामायण ने भी सभी दर्शकों का दिल जीता और इसी सीरियल ने राम-सीता का किरदार निभाने वाले गुरमीत चौधरी और देबिना बनर्जी की रियल लाइफ जोड़ी बना दी. खास बातचीत के दौरान गुरमीत-देबिना ने ना सिर्फ सीरियल रामायण से जुड़ी यादें शेयर की बल्कि ये भी बताया इनकी जोड़ी भी राम मिलाई जोड़ी है.
कमल नैनों की वजह से गुरमीत को मिला राम का किरदार?
आज तक के साथ खास बातचीत में देबिना ने बताया, "जब हम वो सीरियल कर रहे थे तब हमें पता नहीं था लेकिन जान आनंद जी और शक्ति सागर जी ने एक इंटरव्यू में कहा कि गुरमीत की आंखें कमल नयन जैसी हैं तब हमें पता चल की मेकर्स कितनी बारीकी से आर्टिस्ट को देखते हैं और किरदार के लिए चुनते हैं."
वहीं गुरमीत ने कहा, "दरअसल उसके पीछे भी एक छोटी सी स्टोरी है. साउथ में हम दोनों एक सीरीज कर रहे थे 'मायावी' जिसमे देबिना हीरोइन थी और मैं विलेन था. उस टाइम पर मैं बड़ा दिखने के लिए दाढ़ी रखता था मेरे बाल भी बड़े थे और कर्ली थे. तो उस समय उस सीरीज का जो हीरो था गणेश, उसने अपनी एक शो रील बनाई थी. उसमें उसने अपने शॉट्स रखे थे पर मुझे ऐसा लगता है कि गलती से उसने अपने शॉट्स में मेरा एक शॉट रख दिया जिसमें चलकर आ रहा था. वो शो रील वो शक्ति सागर और आनंद सागर को दिखा रहे थे और वहां से शक्ति सागर ने बोला कि जो ये लड़का है उसका नंबर दो. आई थिंक उस समय दाढ़ी और लंबे बाल के चलते उन्हें सिर्फ मेरी सिर्फ आंखें ही दिखीं और वहां से उन्होंने मुझे बुलाया, लुक टेस्ट हुआ और मुझे चुना."
रील लाइफ जोड़ी कैसे बनी रियल लाइफ जोड़ी?
इस सवाल के जवाब में गुरमीत ने कहा, "मैं और देबिना एक कांटेस्ट में मिले था जिसमें हम फाइनलिस्ट थे. वहां से हमारी दोस्ती शुरू हुई है, फिर हमने साथ में 'मायावी' किया जहां से हमारी दोस्ती और अच्छी हो गई और हम एक दूसरे को पसंद भी करने लगे."
देबिना ने बताया, "गुरमीत जब रामायण के ऑडिशन के लिए गए तो उन्होंने मुझे भी सीता के लिए ऑडिशन देने को कहा. पहले मैंने थोड़ा सा ना नुकुर किया फिर गुरमीत ने मुझे कनविंस किया तब मैं गई ऑडिशन देने गई और फिर हम दोनों का ही सलेक्शन हो गया. हम दोनों बहुत खुश थे पर ये भी हमें पता था कि लोग नहीं जानते कि हम एक दूसरे को जानते हैं और पसंद करते हैं तो हम दोनों ऐसे शूट करने लगे कि लोगों को पता ना चले. लेकिन 6 महीने बाद सबको पता चलने लगा और धीरे धीरे हमारी राम मिलाई जोड़ी बन गयी."
रियल लाइफ में रामायण ने बहुत कुछ सिखाया है
गुरमीत ने बताया कि बेस स्ट्रॉन्ग होना बहुत जरूरी है और अच्छा हुआ कि एक्टिंग करियर में हमें पहले रामायण मिला. मुझे लगता है रामायण में एक्टिंग करना मेरे लिए आसान नहीं था, इस सीरियल ने हमें बहुत कुछ दिया है और सबसे बड़ी चीज ये कि इस सीरियल ने हमें एक अच्छा इंसान बनाया है." देबिना ने कहा, "जब आप एक किरदार करते हो तो कहीं न कहीं उस किरदार को जीने लगते हो. आपका मन उससे जुड़ जाता है, उसका दुख, उसका सुख सब फील करने लगते हो."
"मेरे सीता के किरदार में एक सीन आया था जिसमें मुझे लगा था कि सीता के साथ इंसाफ नहीं हुआ तो मैंने सीन करने से मना कर दिया और आनंद जी से बात करना चाहा. तो आनंद जी बड़ोदा आए, उनसे मेरी बात हुई तो आनंद जी ने मुझे बताया कि जो राम हैं वो मर्यादा पुरुषोत्तम हैं और भगवान हैं, इसलिए उनके मुंह से हम ये बुलवा नहीं सकते हैं और जो सीता मैय्या हैं वो जानती थी इसीलिए उन्होंने खुद ही अग्नि परीक्षा के लिए बोला. जब आनंद जी ने मुझे अच्छे से समझाया तब जाकर मैंने वो अग्नि परीक्षा वाला सीन किया."
क्या कॉस्ट्यूम ड्रामा करने के बाद एक्टिंग पर लग जाता है ब्रेक?
गुरमीत ने इस सवाल का भी जवाब दिया और बताया, "मुझे याद है जब हम रामायण कर रहे थे तो सीरियल बहुत हिट हुआ था, हम बहुत पॉपुलर हो गए थे, लोग आकर हमारे पांव छू रहे थे तो बहुत लोग हम दोनों को कॉल करने लगे और कहने लगे कि तुम लोग यंग हो और भगवान के अलावा तुम लोगों को कोई और करैक्टर मिलने नहीं वाला. आगे ज़्यादा स्ट्रगल करने से अच्छा है तुम लोग पॉलिटिक्स में चले जाओ. मुझे याद है हम लोग बड़ोदा में शूट कर रहे थे और इन्हीं कॉल्स के बारे में सोच रहे थे तब हमने फैसला किया कि हम आगे बढ़ेंगे, हम ऐसा करके दिखाएंगे जिससे हमारे बाद आने वाली जो जनरेशन है वो कॉस्ट्यूम ड्रामा करने से डरे नहीं."
"हमने बहुत मेहनत की और मुझे लगता है कि टाइप कास्ट आम जनता नहीं करती. आपकी इंडस्ट्री कर देती है. मुझे याद है जैसे ही रामायण सीरियल खत्म हुआ तो मैंने और देबिना ने तुरंत एक रियलिटी शो किया, ताकि लोग हमें देख पाएं. इंडस्ट्री हमें देख पाए कि हम यंग हैं. हम भी जीन्स टीशर्ट पहनते हैं हम एक एक्टर और एक आम इंसान हैं. और उस रियलिटी शो के बाद मुझे सीरियल गीत और देबिना को चिड़ियाघर सीरियल मिला. और हम आगे बढ़ते चले गए."
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देबिना ने भी गुरमीत की बात से सहमति जताते हुए कहा कि मैं इस बात से सहमत हूं. हमारा हार्ड वर्क तो था ही प्लस लक भी था हमारे साथ. उस समय इंटरनेट का दौर बहुत चल पड़ा था, लोग सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर आ गए और हम भी लोगों से कनेक्ट होने लगे. बात दें कि आनंद सागर की रामायण फिर से दंगल चैनल पर दिखाई जा रही है जहां गुरमीत और देबिना, राम-सीता बनकर अपने दर्शकों का फिर से दिल जीत रहे हैं.