एक तरफ देश कोरोना से जंग लड़ रहा है वहीं दूसरी तरफ जम्मू-कश्मीर में हमारे अर्धसैनिक बल और सेना के जवान घात लगाए दुश्मनों से लोहा ले रहे हैं. महज 48 घंटे के अंदर एक बार फिर आतंकियों ने सीआरपीएफ को निशाना बनाया जिसमें 3 जवान शहीद हो गए.
बता दें कि उत्तरी कश्मीर के कुपवाड़ा जिले के हंदवाड़ा में दो दिन पहले भी सुरक्षाबलों और आतंकियों के बीच मुठभेड़ हुई थी जिसमें एक कर्नल समेत पांच जवान शहीद हो गए थे. सोमवार को आतंकियों की गोली से तीन और जवान शहीद हो गए. महज 48 घंटे के भीतर इस देश ने अपने 8 वीर जवानों को खो दिया है.
हंदवाड़ा में ही आज भी घात लगाए आतंकियों ने सीआरपीएफ की पेट्रोलिंग पार्टी पर हमला कर दिया जिसमें संतोष मिश्रा, सीटी चंद्रशेखर और सीटी अश्विनी कुमार यादव शहीद हो गए. जवाबी कार्रवाई में जवानों ने आतंकियों को भी मार गिराया.
इससे पहले शनिवार रात और रविवार को भी इसी इलाके में आतंकियों से लोहा लेते हुए कर्नल, मेजर और 3 जवान शहीद हो गए थे. सुरक्षाबलों ने 2 आतंकियों को भी ढेर कर दिया था. ये आतंकी रिहायशी इलाके में एक घर में छुपे हुए थे और कुछ स्थानीय कश्मीरी लोगों को बंधक बना लिया था.
रिपोर्ट के मुताबिक आतंकियों ने सोमवार की शाम सीआरपीएफ की पेट्रोलिंग पार्टी पर उस वक्त हमला किया जब वो काजियाबाद की तरफ बढ़ रहे थे. हमले के बाद सीआरपीएफ ने भी फौरन जवाबी कार्रवाई की और आतंकी को वहीं मार गिराया.
इस घटना के बाद करालगुंड, काजियाबाद और नौगाम के इलाके में सुरक्षाबलों ने आतंकियों के खिलाफ बड़ा सर्च ऑपरेशन शुरू कर दिया है. इस ऑपरेशन में सेना की राष्ट्रीय राइफल्स और जम्मू-कश्मीर पुलिस के जवान भी शामिल हैं.
आतंकियों से किसी भी वक्त सामना करने के लिए सर्च ऑपरेशन में सेना की स्पेशल फोर्सेज को भी लगाया गया है ताकि किसी भी परिस्थिति में आतंकियों को मुंहतोड़ जवाब दिया जा सके.
बता दें कि कुपवाड़ा जिला के जिस हंदवाड़ा में आतंकी बार-बार सुरक्षाबलों को निशाना बना रहे हैं वो क्षेत्र भारत-पाकिस्तान की नियंत्रण रेखा से महज कुछ ही दूरी पर है. इसलिए यहां आतंकियों का घुसपैठ करना आसान हो जाता है. सुरक्षा के लिहाज से कुपवाड़ा को जम्मू-कश्मीर के सबसे संवेदनशील क्षेत्रों में से एक माना जाता है.