
फ्रांसीसी नेवी ने रविवार को पाकिस्तानी मीडिया द्वारा किए गए उन दावों का खंडन किया, जिसमें दावा किया गया था कि एक फ्रांसीसी कमांडर मई 2025 के संघर्ष के दौरान पाकिस्तानी की हवाई श्रेष्ठता की पुष्टि की और राफेल जेट के नुकसान की बात कही थी. फ्रांसीसी नौसेना ने इन रिपोर्टों को गलत सूचना करार दिया है और जियो टीवी द्वारा प्रकाशित लेख को भ्रामक बताया है.
दरअसल, पाकिस्तान के जियो टीवी ने एक लेख प्रकाशित किया था, जिसमें दावा किया गया था कि फ्रांसीसी कमांडर कैप्टन जैक्विस लाउने ने ऑपरेशन सिंदूर के दौरान हवाई मुठभेड़ में पाकिस्तान की श्रेष्ठता की पुष्टि की थी. लेख में ये भी दावा किया गया था कि पाकिस्तानी एयरफोर्स "बेहतर तैयारी" में थी और राफेल फाइटर को चीनी जे-10सी फाइटर की तकनीकी श्रेष्ठता के कारण नहीं गिराया गया था.
'PAK ने फैलाया झूठ'
फ्रांसीसी नौसेना ने अब पाकिस्तान के इस झूठ की पोल खोलते हुए PAK के दावे को फर्जी खबर करार दिया और कहा, 'ये बयान कैप्टन लाउने के हवाले से दिए गए हैं, जिन्होंने किसी भी तरह के प्रकाशन के लिए अपनी सहमति नहीं दी. लेख में व्यापक रूप से गलत और भ्रामक सूचनाएं हैं.'

सोशल मीडिया पर PAK की आलोचना
इस घटनाक्रम ने सोशल मीडिया पर नई बहस शुरू कर दी है, जहां कई लोगों ने इसे पाकिस्तानी मीडिया में भारत-विरोधी दुष्प्रचार करार दिया है.
अमित मालवीय ने साधा निशाना
वहीं, बीजेपी नेता अमित मालवीय ने इस घटना को पाकिस्तान की हताश गलत सूचना मशीनरी का सबूत बताया है. उन्होंने एक्स पर लिखा, 'फ्रांसीसी नौसेना ने पाकिस्तान के जियो टीवी और उसके संवाददाता हामिद मीर को 'गलत सूचना फैलाने का आरोप लगाया. अपनी रिपोर्ट में हामिद मीर ने राफेल और तथाकथित मई संघर्ष के बारे में वही पुराने, मनगढ़ंत दावे किए हैं और अब सार्वजनिक रूप से उजागर हो गए हैं. जब आधिकारिक संस्थाएं उनकी प्रचार को खारिज करने लगती हैं तो आप जानते हैं कि पाकिस्तान की गलत सूचना मशीनरी कितनी हताश हो गई है.'
कई अन्य लोगों ने भी इसी तरह पाकिस्तानी मीडिया की आलोचना की और आरोप लगाया कि उसका भारत के खिलाफ गलत सूचना फैलाने और निराधार दावे करने का इतिहास रहा है.
एक एक्स यूजर, जो अर्घा नाम से जाता है ने कहा, 'पाकिस्तान का पूरा अस्तित्व उनके पश्चिमी मालिकों से मान्यता पर आधारित है.'
ऑपरेशन सिंदूर में PAK को हुआ भारी नुकसान
बता दें कि भारत ने पहलगाम आतंकी हमले के जवाब में पाकिस्तान और पाकिस्तान अधिकृत कश्मीर में स्थित आतंकवादी कैंपों पर हमला किया था. जिसमें कई आतंकी मारे गए थे. कई दिनों तक चले इस संघर्ष में पाकिस्तानी सेना को काफी नुकसान हुआ था. इसके बाद इस्लामाबाद की अपील पर दोनों पक्ष के बीच सीजफायर पर सहमति बनी थी.