उनके घर में फिल्मों पर बातें करने की मनाही है. देर रात तक उन्हें घर से बाहर रहने की इजाजत नहीं मिलती. दबंग की बेशुमार कामयाबी के बाद भी सोनाक्षी सिन्हा को कहीं जाना होता है तो उन्हें अपनी मम्मी के साथ की जरूरत होती है.
मां पूनम सिन्हा कहती हैं, ''दुनिया के लिए वो बड़ी स्टार होगी लेकिन घर में वह एक सामान्य किस्म की लड़की है, जिसे घर के कायदे-कानूनों का पालन करना होता है.''
इसमें सुबह सात बजे उठने से लेकर दोपहर को साथ भोजन करने तक के कायदे शामिल हैं.
सोनाक्षी भी इन सबका निर्वाह करने को अपनी जिम्मेदारी मानती हैं. वे फिल्मी कॅरिअर और निजी जिंदगी के बीच संतुलन बनाए रखने के पक्ष में हैं. उनके लिए पुराने दोस्त आज भी वैसे ही हैं और उनके लिए वे भी बिल्कुल नहीं बदली हैं.
हां, एक बात का उन्हें गम है कि अब सहेलियों के साथ गप्पों का ज्यादा मौका नहीं मिलता.
पसंदः जलेबियां खाना उन्हें बहुत भाता है. कुरोसावा के मुल्क जापान की फिल्में वे बहुत देखती हैं. संग्रहणीय चीजों में पर्स और घड़ियां रखने का शौक है.
पिक्चर जो बाकी हैः फराह खान और शिरीष कुंदेर की फिल्म जोकर में उनके आइटम सांग की अभी से चर्चा होने लगी है. अब्बास-मस्तान की रेस की अगली कड़ी रेस-2 में उनका ग्रे कैरेक्टर है और फिर अजय देवगन के साथ एक फिल्म कर रही हैं.
''मैं दुनिया के लिए एक्ट्रेस हूं, जिसे वक्त के साथ बदलना पड़ेगा, लेकिन परिवार और दोस्तों के लिए सोनाक्षी सिन्हा न बदली है, न बदलेगी.''- सोनाक्षी सिन्हा
घर में वह एक सामान्य लड़की है, जिसे घर के कायदे-कानूनों का पालन करना होता है. --पूनम सिन्हा, सोनाक्षी की मां