Meerut: बुर्का पहनकर एग्जीबिशन में ज्वेलरी स्टॉल लगाने पहुंचीं दो युवतियां, कॉलेज प्रशासन ने नहीं दी एंट्री

मेरठ में इस्माइल नेशनल महिला डिग्री कॉलेज में एक प्रदर्शनी लगी थी, इसमें बुर्का पहने पहुंचीं दो युवतियों को एंट्री नहीं दी गई. कॉलेज प्रशासन ने सुरक्षा का हवाला देते हुए कहा कि बाहरी आगंतुकों को बुर्का पहनकर परिसर में प्रवेश की अनुमति नहीं है. इसके बाद युवतियां अंतत: अपना स्टॉल लेकर वापस चली गईं.

Advertisement
बुर्का में युवतियों को नहीं मिली एंट्री. (Photo: Screengrab) बुर्का में युवतियों को नहीं मिली एंट्री. (Photo: Screengrab)

उस्मान चौधरी

  • मेरठ,
  • 18 अक्टूबर 2025,
  • अपडेटेड 11:02 AM IST

UP News: मेरठ में बुढ़ाना गेट स्थित इस्माइल नेशनल महिला डिग्री कॉलेज में प्रदर्शनी के दौरान दो मुस्लिम युवतियों को प्रवेश नहीं दिया गया. दरअसल, मुनीरा और आयशा नाम की युवतियां ज्वेलरी का स्टॉल लगाने के लिए कॉलेज में आई थीं. बुर्का पहनकर प्रदर्शनी में हिस्सा लेने पहुंचीं थीं. कॉलेज में प्रवेश के समय गेट पर तैनात महिला कर्मचारी ने दोनों को अंदर जाने से रोक दिया और कहा कि सुरक्षा कारणों से बुर्का पहने हुए प्रवेश नहीं दिया जा सकता. 

Advertisement

युवतियों ने बुर्का नहीं हटाया और कॉलेज प्रशासन के साथ काफी देर तक बहस होती रही, लेकिन एंट्री नहीं मिली. अंत में दोनों युवतियों ने अपना सामान लेकर वापस लौटने का निर्णय लिया. कॉलेज प्रशासन का कहना है कि दोनों युवतियां कॉलेज की छात्राएं नहीं थीं, बल्कि बाहरी थीं, इसलिए सुरक्षा के लिहाज से उन्हें प्रवेश नहीं दिया गया.

यहां देखें Video

आएशा ने कहा कि हम कॉलेज की एग्जीबिशन में ज्वेलरी का स्टाल लगाने आए थे. इसके लिए हमने अपना नाम लिखवा दिया था. जब यहां आए तो कहा गया कि बुर्का में नहीं, बल्कि नॉर्मल कपड़ों में एंट्री ले सकते हैं. इसको लेकर हमने बुर्का हटाने से मना कर दिया.

यह भी पढ़ें: बुर्का पहनकर आया कातिल, 19 साल की लड़की को छत से फेंका... दिल्ली के ज्योति नगर में दिल दहलाने वाली वारदात

Advertisement

इस पूरे मामले को लेकर कॉलेज की चीफ प्रॉक्टर दीप्ति कौशिक ने कहा कि दोनों बाहरी थीं और सुरक्षा कारणों से उन्हें अंदर जाने से रोका गया. यह कॉलेज का आंतरिक नियम है, जिसका पालन हर किसी को करना होता है. दोनों ही बाहरी थीं, वे कॉलेज की स्टूडेंट नहीं हैं. सिक्योरिटी परपस से यहां पर हमने चेंजिंग रूम बनाया है, वहां पर बुर्का चेंज किया जा सकता है. हम नहीं चाहते कि आइडेंटिफाई हो कि कौन किस धर्म का है. सब स्टूडेंट बराबर हैं.

दीप्ति कौशिक का कहना था कि अगर दोनों युवतियां चाहतीं, तो सुरक्षा और पहचान सुनिश्चित करने के लिए चेंजिंग रूम में बुर्का बदलकर प्रदर्शनी में हिस्सा ले सकती थीं. कॉलेज प्रशासन के अनुसार, यह नियम हर बाहरी आगंतुक पर लागू होता है, ताकि परिसर में किसी प्रकार की सुरक्षा या पहचान संबंधी समस्या न हो.

---- समाप्त ----

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement