कोलकाता टेस्ट में मिली करारी हार के बाद टीम इंडिया अब 22 नवंबर से साउथ अफ्रीका के खिलाफ दूसरा और आखिरी टेस्ट मैच खेलेगी. ये मुकाबला सीरीज बराबरी के लिहाज से ज्यादा विश्व टेस्ट चैम्पियनशिप रैंकिंग के लिए अहम है. क्योंकि भारतीय टीम अपने घर में लगातार निराश कर रही है. लेकिन गुवाहाटी में होने वाले इस मैच के लिए भारतीय खिलाड़ियों ने कुछ नए अंदाज में प्रैक्टिस की है.
ये प्रैक्टिस इसलिए भी खास है क्योंकि भारतीय बल्लेबाज लगातार स्पिनर्स के सामने बेदम होते दिखे हैं. पिछले मैच में ही 124 रनों का लक्ष्य भारतीय टीम चेज नहीं कर सकी और 30 रन से मैच हार गई. इस करारी हार के बाद कोच गंभीर और टीम इंडिया के खिलाड़ियों की जमकर आलोचना हुई. ऐसे में अब इन कमियों को सुधारने के लिए नए अंदाज में तैयारी शुरू हुई है. आइए आपको इसी के बारे में बताते हैं...
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एक पैड से प्रैक्टिस करते दिखे खिलाड़ी
भारतीय टीम ने गुवाहाटी को बुधवार को रवाना होने से पहले कोलकाता के ईडन गार्डन्स में एक अलग ही स्टाइल में 'नो-पैड ड्रिल' अपनाई. ध्रुव जुरेल और साई सुदर्शन एक ही पैड पहनकर नेट प्रैक्टिस करते हुए नजर आए. साई और जुरेल ने करीब तीन घंटे तक चली ऑप्शन नेट सेशन में एक-एक पैड उतारकर बल्लेबाजी की, जिसका मकसद स्पिन को बेहतर तरीके से खेलना था.
इससे क्या फायदा होगा
यह एक बेहद पुरानी ट्रेनिंग तकनीक है, जिसमें कोच गेंद को रोकने के लिए बल्लेबाजों को फ्रंट पैड के बजाय ज्यादा से ज्यादा बैट का इस्तेमाल करने पर जोर देते हैं. पैड पहनने पर बल्लेबाज अक्सर अपनी आदत के मुताबिक फ्रंट पैड आगे कर देते हैं, जो उनकी पहली डिफेंस बन जाती है, और कई बार वे फ्रंट-फुट पर LBW होने की स्थिति में आ जाते हैं. नेट्स में फ्रंट पैड हटाने से बल्लेबाज को मजबूरन बैट का इस्तेमाल करना पड़ता है.
इस ड्रिल का एक और बड़ा कारण है भारतीय बाएं हाथ के बल्लेबाजों की मौजूदा टेंडेंसी, वो स्पिनरों को हाथ से पढ़ने में संघर्ष करते हैं और टर्न के साथ खेलने की कोशिश में बार-बार बैकफुट पर चले जाते हैं.
दो हाथों से गेंदबाजी की प्रैक्टिस
वहीं, कोलकाता में टीम इंडिया ने प्रैक्टिस के दौरान एक ऐसे गेंदबाज का सामना किया जो दोनों हाथ से गेंदबाजी करता है. कौशिक मैती ने भारतीय प्लेयर्स को ये प्रैक्टिस कराई. इसका कारण भारतीय बल्लेबाजों को स्पिनर्स के सामने आ रही दिक्कतों को दूर करना है. मैती ने बाएं हाथ के बल्लेबाज़ों को ऑफ-ब्रेक और दाएं हाथ के बल्लेबाज़ों को लेफ्ट-आर्म स्पिन कराई.
दरअसल, कोलकाता टेस्ट में भारतीय बल्लेबाज हार्मर और केशव महाराज के सामने जूझते दिखे थे. ये कोई नई समस्या नहीं है. बल्कि टीम इंडिया के बल्लेबाजों को पिछले कुछ समय से स्पिनर्स को खेलने में दिक्कत आ रही है.
गिल की चोट भी एक समस्या
हालांकि, टीम इंडिया की मुश्किलें खत्म नहीं हुई हैं. क्योंकि टीम के कप्तान शुभमन गिल के दूसरे टेस्ट में खेलने को लेकर अब भी अनिश्चितता का माहौल है. आशंका है कि वो दूसरा टेस्ट मिस कर सकते है. ऐसे में कोच गंभीर के सामने गिल का प्लेसमेंट तलाशने की भी चुनौती होगी.
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