HAQ Review: यामी गौतम ने लड़ी 'हक' की लड़ाई, इमोशनल फिल्म ने जीता दिल

इमरान हाशमी और यामी गौतम स्टारर फिल्म 'हक' में ऐसे कई पल हैं, जो आपको सोचने पर मजबूर करते हैं. महिलाओं के अधिकारों के बारे में, उनकी जिंदगी के बारे में और उनकी पहचान के बारे में. कैसी है ये फिल्म जानिए हमारे रिव्यू में.

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कैसी है इमरान हाशमी और यामी गौतन की फिल्म 'हक'? (Photo: Screengrab) कैसी है इमरान हाशमी और यामी गौतन की फिल्म 'हक'? (Photo: Screengrab)

पल्लवी

  • नई दिल्ली,
  • 05 नवंबर 2025,
  • अपडेटेड 5:59 PM IST
फिल्म:हक
3.5/5
  • कलाकार : इमरान हाशमी, यामी गौतम, शीबा चड्ढा, वर्तिका सिंह
  • निर्देशक :सुपर्ण वर्मा

इमरान हाशमी और यामी गौतम स्टारर फिल्म 'हक' में ऐसे कई पल हैं, जो आपको सोचने पर मजबूर करते हैं. महिलाओं के अधिकारों के बारे में, उनकी जिंदगी के बारे में और उनकी पहचान के बारे में. ये कहानी है शाजिया बानो (यामी गौतम) की, जो अपने पति और जाने-माने वकील अब्बास खान (इमरान खान) के खिलाफ अपने बच्चों के मुआवजे का मामला लेकर कोर्ट पहुंची हैं. उसकी न्याय की मांग पर जज कहता है- काजी के पास जाइए. इसपर शाजिया बानो एक बड़ा सवाल उसके सामने उठाती है. वो पूछती है- अगर मैंने किसी का खून किया होता तो भी आप यही कहते?

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कैसी है फिल्म हक?

'हक', 1985 के शाह बानो केस से प्रेरित है. शाह बानो ने तीन तलाक के खिलाफ उस जमाने में एक बड़ा केस लड़ा था, जिसके चलते सुप्रीम कोर्ट ने एक बड़ा फैसला सुनाया. ऐसा ही कुछ आपको 'हक' में भी देखने को मिलेगा. ये फिल्म आपको प्यार की गलियों से लेते हुए ऐसी जगह ले जाकर खड़ा कर देती है, जहां आपको भी उतनी ही बेबसी महसूस होती है, जो शाजिया बानो को हो रही है.

पिक्चर की शुरुआत में आप शाजिया बानो और अब्बास खास के प्यार को देखते हैं. एक मौलाना की बेटी, जो अपने पति से प्यार करती है और जिसके लिए उसका पति दूसरों से लड़ जाता है. मगर हर शादीशुदा जोड़े की तरह वक्त की मार इन दिनों को भी झेलनी पड़ती है. शाजिया और अब्बास के तीन बच्चे होते हैं और दोनों के बीच का रोमांस मरने लगता है. फिर वो दिन आता है, जब अब्बास दूसरी बीवी घर ले आता है. बानो से झूठ बोलकर गए अब्बास की इस हरकत पर उसकी बेगम विश्वास ही नहीं कर पाती. वो बार-बार अपनी आंखों में मोटे-मोटे आंसू लिये पूछती है- आपने सच में दूसरी शादी कर ली है? बानो की सास उसे 'अडजस्ट' करने को कहती है. 

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इमरान हाशमी और यामी गौतम की केमिस्ट्री इस फिल्म में इतनी खूबसूरत है कि अब्बास की दगा से बानो के साथ-साथ आपका भी दिल टूटता है. फिल्म में एक सीन है, जिसमें नई दुल्हन बनकर शौहर के घर गई बानो जब पहली बार रसोई में घुसती है, तो देखती है कि वहां तीन कुकर रखे हैं. घर की नौकरानी बताती है कि साहब में सब्र नहीं है, एक कुकर खराब होता है तो उसे ठीक करवाने के बजाए बाजार से दूसरा ले आते हैं. यही आगे चलकर बानो के साथ भी होने वाला है. ऐसी ही छोटी-छोटी चीजें इस फिल्म को बढ़िया बनाती हैं.

डायरेक्टर सुपर्ण वर्मा की इस फिल्म में इमोशन, महिला सशक्तिकरण के साथ-साथ ड्रामा भी है. पिक्चर में यामी गौतम की परफॉरमेंस तारीफ के लायक है. शाजिया बानो के किरदार को बहुत खूबसूरती से यामी ने निभाया है. उनका प्यार, उनका दर्द और उनके आंसू, सब आपके दिल में उतरते हैं. वहीं इमरान हाशमी भी अब्बास खान के किरदार में शाइन करते हैं. दोनों की केमिस्ट्री लाजवाब है. वर्तिका सिंह ने अब्बास की दूसरी पत्नी सायरा का किरदार बखूबी निभाया. वहीं शीबा चड्ढा और दानिश हुसैन जैसे बढ़िया सितारे भी इसमें अहम भूमिका में है.

'हक' किसी धर्म पर सवाल नहीं उठाती. ये हिंदू-मुस्लिम की लड़ाई से दूर महिलाओं के अधिकार पर बात करती है. फिल्म में कुछ कमियां भी हैं. इसके कुछ सीन्स ज्यादा ड्रामेटिक लगते हैं. पिक्चर को देखकर साफ है कि असल कहानी से ये काफी अलग है. लेकिन कुल-मिलाकर ये फिल्म आपको एंटरटेन करने के साथ-साथ सोचने पर भी मजबूर करती है. 7 नवंबर से आप इसे सिनेमाघरों में देख सकते हैं.

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