'आप कुछ भी हों, मिट्टी देने के लिए किसी परमिशन की जरूरत नहीं...', गाजीपुर DM से मुख्तार के भाई की बहस, Video

यूपी का माफिया-डॉन मुख्तार अंसारी मिट्टी में दफ्न हो चुका है लेकिन उसे सुपुर्द-ए-खाक किए जाने के दौरान डीएम और मुख्तार के भाई अफजाल अंसारी के बीच तीखी बहस हो गई. ये बहस कब्रिस्तान के अंदर ज्यादा लोगों को ले जाने की मांग को लेकर हुई. इस पर डीएम ने उन्हें कार्रवाई करने की भी चेतावनी दी.

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मुख्तार अंसारी के भाई की प्रशासन से हुई बहस मुख्तार अंसारी के भाई की प्रशासन से हुई बहस

उदय गुप्ता / आशीष श्रीवास्तव

  • गाजीपुर,
  • 30 मार्च 2024,
  • अपडेटेड 5:34 PM IST

यूपी के माफिया-डॉन मुख्तार अंसारी को गाजीपुर में उसके पैतृक गांव में सुपुर्द-ए-खाक कर दिया गया लेकिन इस दौरान उसके बड़े भाई और सांसद अफजाल अंसारी की प्रशासन और अधिकारियों से तीखी बहस हो गई. 

इस दौरान अफजाल अंसारी बेहद गुस्से में नजर आए. दरअसल सुपुर्द-ए-खाक की प्रक्रिया के दौरान गाजीपुर की डीएम आर्यका अखोरी ने अफजाल अंसारी से केवल परिवार के सदस्यों को ही कब्रिस्तान के अंदर ले जाने को कहा.

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इस पर अफजाल ने कहा कि अगर दूसरे लोग भी मुख्तार अंसारी के सुपुर्द-ए-खाक में शामिल होना चाहते हैं तो उन्हें कोई नहीं रोक सकता. इस पर  डीएम आर्यका अखोरी ने कहा कि मैं डीएम हूं, इसके लिए इजाजत नहीं ली गई है. 

इस पर अफजाल अंसारी ने कहा कि आप चाहे कुछ भी हों, धार्मिक प्रयोजन के लिए या किसी को मिट्टी देने के लिए अनुमति की जरूरत नहीं होती है. इस पर डीएम ने कहा कि जरूरत होती है क्योंकि यहां धारा 144 लगी हुई है. आप सिर्फ परिवार के लोगों को लेकर अंदर जाइये.

इस पर अफजाल अंसारी ने जवाब देते हुए कहा कि जो भी मिट्टी देना चाहता है वो दे सकता है, उसे कोई नहीं रोक सकता. 

इस पर डीएम आर्यका अखोरी ने कहा कि ठीक है, सभी की वीडियोग्राफी हो रही है, हम आप सभी के खिलाफ उचित कार्रवाई करेंगे. उन्होंने कहा कि यहां माहौल बिगाड़ने की कोशिश हुई है.  

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वहीं इस घटना को लेकर गाजीपुर के एसएसपी ओमवीर सिंह ने कहा, मुख्तार के परिजन मिट्टी डाल रहे थे, बीच में गलियों से लोग आ गए थे, उनकी पहचान की जा रही है. बता दें कि गुरुवार की रात मुख्तार अंसारी की मौत के बाद शुक्रवार को उसके शव को उसके जन्मस्थान गाजीपुर लाया गया जहां उसे कालीबाग स्थित कब्रिस्तान में दफनाया गया. 

हालांकि कब्रिस्तान में उसके शव को बस परिवार के लोगों को ही मिट्टी देने की इजाजत दी गई. इस दौरान कब्रिस्तान से लेकर पूरे गाजीपुर में सुरक्षा के कड़े इंतजाम किए गए थे. बता दें कि इस मौके पर उसकी पत्नी अफशां मौजूद नहीं थी. अफशां पर कई केस दर्ज हैं और वो फरार है.

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