कोरोना वायरस ने पूरी दुनिया को ही बदलकर रख दिया है. लोग सबसे ज्यादा साफ सफाई पर ध्यान दे रहे हैं. जिससे वो खतरनाक वायरस का शिकार होने से बच सकें. इसी को ध्यान में रखकर दिल्ली में सरकारी टॉयलेट को साफ रखने के लिए एक खास रणनीति बनाई गई है. सभी सरकारी शौचालयों में पानी, साबुन और बिजली हो, इस पर ध्यान दिया जा रहा है.
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सरकारी शौचालय में अगर साफ-सफाई की कमी, टॉयलेट सीट की सफाई में कमी दिखे तो शिकायत के साथ-साथ किसी भी तरह का फीडबैक संबंधित एजेंसी को जाएगा. इसके लिए क्यूआर कोड को स्कैन करने से 5 विकल्प आएंगे जिसमें बिजली, पानी, साबुन की उपलब्धता, शौचालय परिसर एवं टॉयलेट सीट की साफ सफाई संबंधित शिकायत नागरिक दर्ज करा सकते हैं.
फीडबैक दर्ज कराने के लिए कोई एक विकल्प को चुनना होगा. इसके अतिरिक्त कोड स्कैन करने पर सार्वजनिक शौचालय की लोकेशन, वार्ड व अन्य जानकारी उपलब्ध होगी. ये अनोखा प्रयोग पश्चिमी जोन के राजौरी गार्डन, नजफगढ़ रोड स्थित शौचालय परिसर में किया गया है.
स्वच्छ भारत मिशन के नोडल अधिकारी राजीव जैन ने बताया कि दक्षिणी निगम के सभी सार्वजनिक शौचालयों में यह सिस्टम लगाया जा रहा है. उन्होंने नागरिकों से अपील की है कि वे फीडबैक क्यूआर कोड के माध्यम से दर्ज कराएं. इन शौचालयों की लाइव निगरानी की जाएगी और जिस पर संबंधित अधिकारी एक घंटे में कार्रवाई करेंगे तथा समस्या का निराकरण भी किया जाएगा.
आपको बता दें कि दक्षिणी दिल्ली नगर निगम द्वारा स्वच्छ सर्वेक्षण 2021 रैंकिंग में सुधार किए जा रहे कार्यों को आगे बढ़ाते हुए इस क्यूआर कोड पर आधारित स्मार्ट सिस्टम की शुरूआत की गई है. अधिकारियों का दावा है कि शिकायत पर तुंरत कारवाई की जाएगी.