बीजेपी के बिहार प्रभारी विनोद तावड़े ने NDA की भारी जीत पर प्रतिक्रिया देते हुए कहा कि यह जीत किसी एक अभियान या नई योजना की देन नहीं है, बल्कि पिछले दस वर्षों से लगातार चल रही विकास योजनाओं पर जनता के आशीर्वाद का परिणाम है. उन्होंने साफ कहा कि 'हमें यह जीत 10,000 रुपये वाली किसी घोषणा से नहीं मिली है, बल्कि लंबे समय से बिहार में चल रही योजनाओं पर जनता ने भरोसा जताया है.'
'बिहार की जनता ने विकास पर मुहर लगाई है'
तावड़े ने कहा कि बिहार की जनता ने इस चुनाव में साफ संदेश दिया है कि वह विकास चाहती है और उसी पर अपना भरोसा जताती है. उन्होंने कहा, 'बिहार की जनता ने विकास पर मुहर लगाई है. लालू-तेजस्वी के नारों को लोग पीछे छोड़ चुके हैं. इस चुनाव में भावनाओं पर नहीं, विकास के मुद्दे पर वोट पड़े हैं.'
CM फेस पर क्या बोले?
जब विनोद तावड़े से मुख्यमंत्री पद को लेकर पूछा गया तो उन्होंने सीधे जवाब देने से बचते हुए कहा कि फिलहाल जीत का जश्न मनाने का समय है. उन्होंने कहा, 'अभी आप जीत का जश्न मनाइए. सही समय आने पर सब जवाब मिल जाएंगे.'
पटना में पार्टी दफ्तरों में जश्न
तावड़े के इस बयान ने संकेत दिया कि NDA में मुख्यमंत्री पद को लेकर फैसला केंद्रीय नेतृत्व और गठबंधन के बीच परामर्श के बाद ही सामने आएगा. बिहार के ताज़ा रुझानों में NDA भारी बढ़त बनाए हुए है और पटना में पार्टी दफ्तरों में जश्न का माहौल है.
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बिहार विधानसभा चुनाव की मतगणना जारी है और शुरुआती रुझानों में एनडीए ने 200 के आंकड़े को पार करता हुआ मजबूत बढ़त बना ली है. दूसरी तरफ, लालू प्रसाद यादव की आरजेडी के लिए नतीजों का रुख उम्मीदों के विपरीत दिखाई दे रहा है. प्रशांत किशोर की जनसुराज पार्टी भी प्रदर्शन के मामले में कोई खास बढ़त नहीं दिखा पा रही है.
243 सीटों पर हुए दो चरणों के मतदान की गिनती चल रही है. मतगणना शुरू होने से पहले ही नीतीश कुमार ने आत्मविश्वास के साथ अपनी जीत का दावा किया था, जबकि तेजस्वी यादव ने 18 नवंबर को शपथ लेने की बात कही थी. लेकिन मौजूदा रुझान तेजस्वी के दावे को कमजोर साबित कर रहे हैं और आरजेडी को बड़ा नुकसान होता दिख रहा है. उधर, ओवैसी की पार्टी एआईएमआईएम के लिए अब तक के रुझान कुछ हद तक सुकून देने वाले साबित हुए हैं.
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