CM नीतीश 21 लाख और महिलाओं को भेजेंगे ₹10-10 हजार, बिहार चुनाव में 'गेम चेंजर' होगी यह योजना?

बिहार विधानसभा चुनाव से ठीक पहले सीएम नीतीश मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना के तहत और 21 लाख महिला लाभार्थियों के बैंक खाते में 10-10 हजार रुपये ट्रांसफर करेंगे. 1 करोड़ महिलाओं को पहले ही इस योजना के तहत 10 हजार रुपये की पहली किस्त मिल चुकी है.

Advertisement
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार. (Photo: PTI) बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार. (Photo: PTI)

शशि भूषण कुमार

  • पटना,
  • 06 अक्टूबर 2025,
  • अपडेटेड 4:31 AM IST

बिहार विधानसभा चुनाव की घोषणा से पहले 'मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना' के तीसरे चरण के तहत 21 लाख महिला लाभार्थियों को पहली किस्त आज जारी की जाएगी. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार सुबह 10 बजे अपने आधिकारिक आवास, '1 अणे मार्ग' में आयोजित एक विशेष कार्यक्रम में इन महिलाओं के खातों में 10-10 हजार रुपये की राशि डीबीटी (डायरेक्ट बेनिफिट ट्रांसफर) के जरिए हस्तांतरित करेंगे.

Advertisement

यह योजना जीविका स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी महिलाओं को स्वरोजगार के लिए प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से शुरू की गई है. इसके तहत प्रत्येक लाभार्थी महिला को व्यवसाय शुरू करने के लिए प्रारंभिक सहायता के रूप में 10,000 रुपये की पहली किस्त दी जा रही है. सफल व्यवसाय संचालन पर भविष्य में 2 लाख रुपये तक की अतिरिक्त वित्तीय सहायता भी प्रदान की जाएगी. प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 26 सितंबर को इस योजना का शुभारंभ किया था और 75 लाख महिलाओं को डीबीटी के जरिए 10000 रुपये की राशि उनके बैंक खातों में हस्तांतरित की थी.

1 करोड़ महिलाओं को मिल चुकी है पहली किस्त

इसके बाद बिहार के सीएम नीतीश कुमार ने 'मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना' के तहत दूसरे चरण में 3 अक्टूबर को 25 लाख महिला लाभार्थियों के बैंक खातों में 10-10 हजार रुपये की राशि डीबीटी के माध्यम से स्तांतरित की थी. अब तक इस योजना के तहत 1 करोड़ महिलाओं को लाभ मिल चुका है. महिला लाभार्थी mmry.brlps.in वेबसाइट पर जाकर देख सकती हैं कि उनका पैसा रिलीज हुआ है या नहीं. सीएम नीतीश कुमार आज और 21 लाख महिला लाभार्थियों के बैंक खातों में 10-10 हजार रुपये की राशि हस्तांतरित करेंगे. 

Advertisement

बिहार चुनाव की विस्तृत कवरेज के लिए यहां क्लिक करें

बिहार विधानसभा की हर सीट का हर पहलू, हर विवरण यहां पढ़ें

यह भी पढ़ें: EVM पर रंगीन फोटो से लेकर 100% वेबकास्टिंग तक... बिहार चुनाव में पहली बार दिखेंगे ये बड़े बदलाव

इस तरह जीविका स्वयं सहायता समूहों से जुड़ी 1.21 करोड़ महिलाओं को 'मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना' के तहत 10-10 हजार रुपये मिल जाएंगे. मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने कहा कि यह योजना बिहार की महिलाओं को आर्थिक रूप से सशक्त बनाने और उनके परिवारों की समृद्धि में योगदान देने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है. साथ ही आगामी बिहार चुनाव में भी इस योजना का एनडीए को लाभ मिल सकता है. एनडीए इस योजना को अपने 'ब्रह्मास्त्र' की तरह देख रहा है, जो महिला वोट बैंक को उसके पक्ष में लामबंद कर सकता है.

इस योजना का बिहार चुनाव पर क्या होगा असर?

बिहार में पिछले कई चुनावों से महिलाओं का वोट प्रतिशत लगातार बढ़ा है और 2020 चुनाव में भी महिला वोटर्स ने एनडीए की जीत में अहम भूमिका निभाई थी. 'मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना' के तहत 1.21 करोड़ महिलाओं को सीधे लाभ मिला है, जो बहुत बड़ा वोट बैंक होता है. इससे महिलाओं के बीच प्रधानमंत्री मोदी और नीतीश कुमार की छवि मजबूत हुई है. एनडीए ने बूथ स्तर पर युवा कार्यकर्ताओं को तैनात कर इस योजना का घर-घर प्रचार शुरू किया है. 

Advertisement

यह भी पढ़ें: 'बिहार में किसी भी पोलिंग बूथ पर 1200 से अधिक वोटर नहीं, कलरफुल होगी प्रत्याशियों की फोटो', बोले CEC ज्ञानेश कुमार

मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने 3 अक्टूबर को योजना के दूसरे चरण के तहत 25 लाख महिलाओं के बैंक खातों में 10-10 हजार रुपये ट्रांसफर किए. इस दौरान उन्होंने महिला लाभार्थियों से अपील की कि 'चुनाव आ रहे हैं, ध्यान दीजिएगा', जो महिला वोटरों को NDA के पक्ष में झुकाने के उनके प्रयास को दर्शाता है. महागठबंधन (आरजेडी, कांग्रेस और वामदलों का गठबंधन) ने भी 'माई बहन मान योजना' के तहत महिलाओं को 2,500 रुपये मासिक सहायता देने का वादा किया है. लेकिन NDA की योजना का तत्काल प्रभाव (1.21 करोड़ महिला लाभार्थी) उसकी स्थिति को मजबूत बनाता है. 

राजनीतिक विश्लेषकों का मानना है कि 'मुख्यमंत्री महिला रोजगार योजना' बिहार में एंटी-इंकम्बेंसी के बावजूद एनडीए की सत्ता बनाए रखने में 'गेम-चेंजर' साबित हो सकती है. हालांकि, आरजेडी और कांग्रेस ने इसे चुनाव से पहले 'वोट खरीदने का पैंतरा' बताया है, लेकिन यदि महिला लाभार्थी योजना से संतुष्ट रहीं, तो एनडीए को इसका बड़ा लाभ हो सकता है. खासकर ग्रामीण क्षेत्रों में जहां जीविका दीदियां सक्रिय हैं. यह योजना NDA की महिला सशक्तिकरण वाली इमेज को मजबूत कर चुनावी समीकरण बदल सकती है.

Advertisement
---- समाप्त ----

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement