असम (Assam) के मुख्यमंत्री हिमंत बिस्वा सरमा (CM Himanta Biswa Sarma) ने बताया है कि NRC डेटा अपडेशन में अबतक 1527.90 करोड़ रुपये खर्च हो चुके हैं. विधानसभा (Assembly) में कांग्रेस विधायक (Congress MLA) कमालाख्या डे के सवाल पर सीएम सरमा ने सोमवार को यह जानकारी दी.
न्यूज एजेंसी के मुताबिक असम के मुख्यमंत्री ने कहा कि 31 अगस्त, 2019 को प्रकाशित अंतिम एनआरसी के बारे में अभी रजिस्ट्रार जनरल ऑफ इंडिया को अधिसूचित करना बाकी है. NRC का अपडेट सुप्रीम कोर्ट के सुपरविजन में हुआ था जिसमें 3.29 करोड़ आवेदकों में से 19 लाख का नाम शामिल नहीं किया गया था. अंतिम रजिस्टर से छूट गए लोगों को रिजेक्शन स्लिप जारी करने के संबंध में सीएम सरमा ने कहा कि यह आरजीआई और एनआरसी स्टेट को-ऑर्डिनेटर के दायरे में आता है.
सीएम ने कहा कि राज्य सरकार ने एक याचिका दायर की थी जिसमें सीमा क्षेत्र वाले जिलों में 20 प्रतिशत रि-वेरिफिकेशन और 10 प्रतिशत अन्य जिलों में रि-वेरिफिकेशन की बात कही गई थी लेकिन सुप्रीम कोर्ट ने इस पर सहमति नहीं जताई थी क्योंकि एनआरसी स्टेट को-ऑर्डिनेटर ने कोर्ट को बताया था कि 27 प्रतिशत रि-वेरिफिकेशन पहले ही किया जा चुका है.
इसपर भी क्लिक करें- सीएए-एनआरसी प्रदर्शनकारियों पर योगी सरकार का ऐक्शन जारी, जैनब सिद्दीकी के घर पहुंची SIT
AIUDF के विधायक अमीनुल इस्लाम ने अपडेशन और रिजेक्शन के दौरान लिए गए बायोमेट्रिक डाटा के संबंध में सवाल किया जिसपर सरमा ने कहा कि ऐसा आधार लिंक करने के लिए किया गया था. उन्होंने कहा कि मामला सुप्रीम कोर्ट में लंबित है और आधार कार्ड UIDAI द्वारा जारी किया जाता है. संबंधित विभाग इसे सुप्रीम कोर्ट के निर्देशों और अंतिम एनआरसी की अधिसूचना के बाद ही जारी कर सकता है.