डेढ़ साल की बच्ची सो रही थी, तभी सीने में लगी गोली..., जीवा मर्डर के वक्त मां के साथ आई थी कोर्ट

Sanjeev Jeeva murder: उत्तर प्रदेश के लखनऊ में जब गैंगस्टर संजीव जीवा की कोर्ट में गोली मार हत्या की गई, तब एक गोली डेढ़ साल की बच्ची को भी जा लगी. बच्ची अपनी मां की गोद में सो रही थी. जैसे ही फायरिंग शुरू हुई तो मां बच्ची को लेकर बाहर की ओर भागी, तभी बच्ची गोली लगने से घायल हो गई.

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लखनऊ कोर्ट में चली गोली से बच्ची घायल. लखनऊ कोर्ट में चली गोली से बच्ची घायल.

समर्थ श्रीवास्तव / सत्यम मिश्रा

  • लखनऊ,
  • 08 जून 2023,
  • अपडेटेड 10:25 AM IST

Lucknow Court Murder: माफिया मुख्तार अंसारी के करीबी संजीव माहेश्वरी जीवा की बुधवार को लखनऊ की एक अदालत परिसर में गोली मारकर हत्या कर दी गई. घटना में एक पुलिसकर्मी और एक दो साल की बच्ची घायल हो गई. गोली लगने से घायल हुई बच्ची और पुलिस कॉन्स्टेबल को अस्पताल ले जाया गया. 

48 साल का गैंगस्टर संजीव माहेश्वरी उर्फ संजीव जीवा मर्डर केस में पेशी पर कोर्ट पहुंचा था. उसकी गवाही होनी थी. पेशी पर इंतजार कर रहा था. कोर्ट में काफी लोग थे. एक महिला अपनी 18 महीने की बच्ची लक्ष्मी को लेकर अपनी मां नीलम के साथ कोर्ट आई थी. नीलम अपने ससुर के केस में पैरोकारी करने पहुंची थी.

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इंतजार करते-करते मासूम बच्ची अपनी मां की गोद में सो गई. बच्ची की मां भी कोर्ट में नीचे बैठ गई. बच्ची को फर्श पर लिटा दिया. बच्ची से सो रही थी. 7 जून को करीब 3 बजकर 50 मिनट पर ताबड़तोड़ फायरिंग होने लगी. गोलियों की आवाज सुनकर नीलम ने अपनी बच्ची को गोद में उठाया और बाहर की तरफ भागने लगी, तभी बच्ची की चीखी. नीलम ने देखा कि बच्ची के शरीर से खून बह रहा है. यह देखकर मां चीखने लगी.

यह भी पढ़ेंः वकील से लेकर जज तक कोर्ट में थे मौजूद, अचानक चलने लगीं गोलियां... गैंगस्टर जीवा के मर्डर के वक्त कैसा था सीन?

बच्ची बेहोशी की हालत में चली गई. मां की उंगलियों से टकराकर सीने के राइट पार्ट में कंधे के पास बच्ची को गोली थी. तुरंत पुलिस की मदद से उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया. डॉक्टरों ने बच्ची का ICU में इलाज शुरू किया. बच्ची की हालत खतरे से बाहर बताई जा रही है. मासूम अपनी मां की गोद में नींद में थी. उसे क्या पता था कि न्याय के मंदिर में गोलियों की बरसात हो सकती है. लोग जहां इंसाफ के लिए आते हैं, वहां भी खून हो सकता है.

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जौनपुर का रहने वाला है हमलावर

पुलिस ने बताया कि हमलावर की पहचान जौनपुर जिले के रहने वाले 24 वर्षीय विजय यादव के रूप में हुई है. वारदात के बाद कोर्ट रूम के बाहर शाम करीब चार बजे मौके पर ही पुलिस ने उसे पकड़ लिया. प्रत्यक्षदर्शियों ने कहा कि हमलावर ने वकील की ड्रेस पहन रखी थी, उसने करीब छह गोलियां चलाईं. मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने घटना की जांच के लिए तीन सदस्यीय विशेष जांच दल (एसआईटी) के गठन का निर्देश दिया है.

संजीव जीवा. (File Photo)

मुजफ्फरनगर का रहने वाला था जीवा

पुलिस अधिकारियों ने बताया कि लखनऊ जेल में आजीवन कारावास की सजा काट रहे 48 वर्षीय जीवा को सुनवाई के लिए कोर्ट ले जाया गया था, उसी दौरान उस पर हमला किया गया. यूपी के मुजफ्फरनगर का रहने वाला जीवा भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के विधायक कृष्णानंद राय और पूर्व मंत्री ब्रह्मदत्त द्विवेदी की हत्या के साथ-साथ अन्य कई मामलों में आरोपी था.

कौन है जीवा की हत्या करने वाला शूटर विजय यादव?

शूटर विजय यादव 2 महीने से लखनऊ में पेयजल योजना के तहत पाइप लाइन बिछाने वाली निजी कंपनी में काम कर रहा था. वह 11 मई को घर गया था. बीते 15 दिन से विजय उसका मोबाइल बंद था. घरवाले भी बातचीत नहीं कर पा रहे थे. लखनऊ से पहले विजय यादव मुंबई में एक निजी कंपनी में काम करता था. साल 2016 में नाबालिग किशोरी के अपहरण, दुष्कर्म और पॉक्सो एक्ट में विजय को जेल भेजा गया था.

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लखनऊ में प्लंबर का काम कर रहा था आरोपी

संजीव जीवा को गोली मारने वाला आरोपी विजय यादव वकील ड्रेस में.

आरोपी विजय यादव जौनपुर के केराकत थाना क्षेत्र के एक गांव का रहने वाला है. क्षेत्र के सर्किल अधिकारी गौरव शर्मा ने बताया कि वह लखनऊ में प्लंबर का काम करता है. अधिकारी ने कहा कि वह 10 मई को एक शादी समारोह में शामिल होने के लिए अपने गांव गया था और अगले ही दिन लखनऊ लौट आया. उसके खिलाफ आजमगढ़ के देवगांव थाने में एक लड़की का अपहरण करने और उसके साथ बलात्कार करने का मामला दर्ज है.

एक सप्ताह के भीतर मामले की जांच पूरी करने के आदेश

अधिकारियों ने कहा कि एसआईटी को एक सप्ताह के भीतर मामले की जांच पूरी करने के लिए कहा गया है. जांच टीम का नेतृत्व अतिरिक्त पुलिस महानिदेशक (तकनीकी) मोहित अग्रवाल करेंगे. टीम के अन्य सदस्य आईपीएस अधिकारी नीलाब्जो चौधरी और पुलिस महानिरीक्षक (अयोध्या रेंज) प्रवीण कुमार शामिल हैं. विशेष पुलिस महानिदेशक (कानून व्यवस्था) प्रशांत कुमार ने कहा कि एसआईटी कोर्ट में सुरक्षा व्यवस्था में चूक सहित सभी पहलुओं पर गौर करेगी. कुमार ने घटना के मद्देनजर कोर्ट परिसर में उचित सुरक्षा व्यवस्था सुनिश्चित करने के लिए प्रदेश के सभी पुलिस अधीक्षकों को निर्देश दिए हैं.

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भाजपा नेता ब्रह्मदत्त द्विवेदी की हत्या में हुई थी उम्रकैद

भाजपा के बड़े नेता ब्रह्मदत्त द्विवेदी की उनके गनर सहित 10 फरवरी 1997 को फर्रुखाबाद जिले में हत्या कर दी गई थी. ट्रायल कोर्ट ने 17 जुलाई 2003 को जीवा को द्विवेदी और उनके गनर की हत्या और ड्राइवर पर जानलेवा हमला करने के लिए दोषी ठहराया था. इस मामले में कोर्ट ने जीवा को उम्रकैद की सजा सुनाई थी.

अदालत परिसर में गोलीबारी की घटना के बाद वकीलों ने राज्य पुलिस के खिलाफ कानून व्यवस्था सुनिश्चित करने में विफल रहने और कड़ी सुरक्षा व्यवस्था को मजबूत करने का आरोप लगाते हुए विरोध प्रदर्शन किया.

हत्या को लेकर विपक्षी दलों ने सरकार पर साधा निशाना

इस घटना को लेकर विपक्षी दलों ने प्रदेश सरकार पर निशाना साधा है. समाजवादी पार्टी प्रमुख अखिलेश यादव ने कहा कि राज्य में कानून-व्यवस्था की स्थिति खराब हो गई है. उन्होंने कहा कि 'ऐसा लगता है कि भाजपा सरकार ने अपराधियों को खुली छूट दे दी है, जो चाहें, जहां चाहें मार सकते हैं. पुलिस हिरासत, पुलिस थानों और अदालतों में हत्याएं हो रही हैं. प्रदेश में लोग सुरक्षित नहीं हैं.'

वहीं बहुजन समाज पार्टी (बसपा) की अध्यक्ष मायावती ने एक ट्वीट में कहा कि 'लखनऊ कोर्ट परिसर के अंदर सनसनीखेज गोलीबारी कर हत्या कर दी गई. उत्तर प्रदेश में कानून व्यवस्था और अपराध नियंत्रण के मामले में सरकार के लिए बड़ी चुनौती है. ऐसी घटनाओं से जनता में दहशत है. सरकार सख्त कदम उठाए.'

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