यूपी के एटा में खौफनाक कांड... 10 साल के बच्चे को पत्थर से कुचला, आंखें निकालीं और काट दिया प्राइवेट पार्ट

एटा के मिरहची थाना क्षेत्र के आलमपुर गांव में एक 10 साल के दलित मासूम की बेरहमी से हत्या कर दी गई. जिस रूप में बच्चा मिला, उसने पूरे गांव को दहला कर रख दिया.

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 एटा की 10 साल के बच्चे से हैवानियत एटा की 10 साल के बच्चे से हैवानियत

देवेश पाल सिंह

  • एटा,
  • 15 मई 2025,
  • अपडेटेड 1:49 PM IST

उत्तर प्रदेश के एटा जिले से एक दिल दहला देने वाली वारदात सामने आई है, जहां मिरहची थाना क्षेत्र के आलमपुर गांव में एक 10 साल के दलित मासूम की बेरहमी से हत्या कर दी गई. जिस रूप में बच्चा मिला, उसने पूरे गांव को दहला कर रख दिया. पोस्टमार्टम के बाद आक्रोषित परिजनों ने न्याय मिलने तक बच्चे का अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया है. मौके पर पहुंचे जिले के वरिष्ठ अधिकारियों ने पीड़ित परिजनों को काफी समझाया बुझाया, तब जकार कहीं न्याय का आश्वासन पाकर पीड़ित परिवार के लोग अंतिम संस्कार करने को राजी हुए हैं.
 
दरअसल, सुबह करीब 7 बजे अनुज नाम का यह बच्चा अपने दो दोस्तों के साथ शौच के लिए निकला था. गांव से कुछ दूरी पर आम के बाग के पास अचानक एक युवक ने उस पर हमला कर दिया. प्रत्यक्षदर्शियों के अनुसार, हमलावर मक्का के खेत से निकला और धारदार हथियार से अनुज पर वार करने लगा.

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बताया जा रहा है कि हमले के बाद मासूम की आंखें निकाल ली गईं, उसके गुप्तांग काटे गए और फिर पत्थर से सिर कुचलकर उसकी हत्या कर दी गई. अनुज के दोनों दोस्त किसी तरह वहां से भागकर गांव पहुंचे और परिजनों को पूरी घटना की जानकारी दी.

घटना के बाद अनुज के चाचा ऋषिपाल उसे अस्पताल ले जाने के लिए सड़क किनारे खड़े रहे, लेकिन मासूम ने रास्ते में ही दम तोड़ दिया. पिता सुनील, जो दो दिन पहले ही दिल्ली से लौटे थे, बेसुध हो गए. उन्होंने बताया कि उनके बेटे की बॉडी इतनी क्षत-विक्षत थी कि पहचानना भी मुश्किल था.

परिजनों ने गांव के बाग के रखवाले पर हत्या का आरोप लगाया है. बताया गया कि वह पहले भी गांव के युवक पर खुरपी से हमला कर चुका है. मौके से एक चाकू और सफेद गमछा बरामद किया गया है.

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पुलिस ने मृतक के दो दोस्तों को हिरासत में लिया है. परिजनों का आरोप है कि मासूमों को थाने में बैठा कर दबाव डाला जा रहा है. वहीं पुलिस पुरानी रंजिश और एक साल पुराने मुकदमे की भी जांच में जुटी है. पोस्टमार्टम के बाद पीड़ित परिजनों ने गांव में जाकर बच्चे का अंतिम संस्कार करने से मना कर दिया और कहा कि जब तक कि हत्यारे को पुलिस गिरफ्तार नहीं कर लेती तब तक वह अपने बच्चों का अंतिम संस्कार नहीं करेंगे. घटना की सूचना पाकर जिले के वार्षिक अधिकारी गांव पहुंच गए और पीड़ित परिजनों को काफी समझाया बुझाए, तब कहीं जाकर पीड़ित पर अपने बच्चों के अंतिम संस्कार करने को राजी हुए.
 
बच्चे के पिता सुनील ने कहा- मेरे बच्चे की बॉडी बहुत ही दर्दनाक हालत में मिली. उसकी आंखें फोड़ दी गई थीं, गुप्तांग काट दिए गए थे, और सिर को पत्थर से कुचल दिया गया. वो घूमने गया था, किसी से कोई दुश्मनी नहीं थी. बच्चे की हालत देखी नहीं जा रही थी, पहचान पाना भी मुश्किल था.

एटा के एसडीएम जगमोहन गुप्ता ने कहा- यह घटना  आलमपुर में हुई है 10 साल के बच्चे के साथ उसमें FIR दर्ज कर दी गई है. जांच शुरू है और इसमें दोषियों के विरुद्ध जल्दी से जल्द कार्रवाई शुरू की जाएगी हमारी तरफ से जो भी आर्थिक सहायता है या जो भी संभव मदद है वह हम पीड़ित परिवार की अपनी तरफ से करेंगे.

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