'खाने तक के पैसे नहीं बचे', आगरा के धीरज जैन पत्नी-बेटी समेत अफ्रीका में फंसे, सरकार से लगाई वतन वापसी की गुहार

कैमरून में फंसे आगरा के धीरज जैन और उनके परिवार ने वीडियो वायरल कर मदद की गुहार लगाई है. धीरज का आरोप है कि उनकी कंपनी ने उन पर झूठे आरोप लगाकर पासपोर्ट जब्त कर लिया है, जिससे उनका परिवार बिना पैसे और सहारे के मुश्किल में है. वे खुद को लूट का शिकार बता रहे हैं.

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अफ्रीकी देश में फंसे आगरा के दंपति (Photo- Screengrab) अफ्रीकी देश में फंसे आगरा के दंपति (Photo- Screengrab)

अरविंद शर्मा

  • आगरा,
  • 21 नवंबर 2025,
  • अपडेटेड 6:02 PM IST

उत्तर प्रदेश में आगरा के रहने वाले धीरज जैन का एक वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. इस वीडियो में धीरज और उनकी पत्नी अफ्रीकी देश कैमरून से अपने परिवार को बचाने की गुहार लगा रहे हैं. धीरज का आरोप है कि अफ्रीका में उनकी कंपनी ने उन पर झूठे आरोप लगाकर पासपोर्ट जब्त कर लिया है, जिससे पूरा परिवार मुश्किल में फंस गया है. रहने-खाने तक के पैसे नहीं बचे हैं. मासूम बच्चे को पालना भी मुश्किल हो गया है.

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 वायरल वीडियो में धीरज जैन खुद को मूल रूप से आगरा के दयालबाग क्षेत्र का निवासी बता रहे हैं और कई वर्षों से एक ट्रैवल सर्विसेज कंपनी में कार्यरत थे. कुछ समय पहले वे अपनी पत्नी सुप्रिया और डेढ़ वर्षीय बेटी के साथ कैमरून गए थे. वहीं पर कंपनी में वित्तीय पद पर सेवाएं दे रहे. वीडियो में धीरज कह रहे हैं कि कंपनी के 1.6 मिलियन की रकम लूट ली गई थी. इसमें उन्हें गलत फंसाया जा रहा है.

धीरज का कहना है कि एक घटना के दौरान उनके पास मौजूद कंपनी के रुपये रास्ते में लूट लिए गए थे, जिसकी रिपोर्ट उन्होंने स्थानीय पुलिस में दर्ज कराई थी. लूटी गई रकम इंश्योरेंस कंपनी नहीं दे रही है. इसके बाद कंपनी ने लूट का पूरा आरोप उन्हीं पर लगा दिया और उनका पासपोर्ट भी रख लिया.

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धीरज के मुताबिक, अब कंपनी ना तो उन्हें भारत लौटने दे रही है और ना ही परिवार का खर्च उठा रही है. वायरल वीडियो में उनकी पत्नी हालातों को बयां करते हुए भावुक नजर आ रहे हैं. वो बता रहे हैं कि स्थिति इतनी खराब हो चुकी है कि उनके पास बेटी के दूध और दवाइयों के लिए भी पैसे नहीं हैं. कैमरून में स्थानीय पुलिस आए दिन उनके घर पहुंचकर दबाव बना रही है, जिससे परिवार दहशत में है.

उन्होंने आशंका जताई है कि इन परिस्थितियों में किसी को भी नुकसान पहुंचाया जा सकता है. धीरज का आरोप है कि कंपनी से जुड़े कुछ लोग लगातार उन्हें परेशान कर रहे हैं और फर्जी तरीके से फंसाने की कोशिश कर रहे हैं.

परिवार का कहना है कि कामकाजी वीजा समाप्त होने के बाद भी कंपनी पासपोर्ट वापस नहीं कर रही, जिससे वे कानूनी रूप से भी फंसे हुए हैं. धीरज ने भारत सरकार, विदेश मंत्रालय और प्रधानमंत्री कार्यालय से तत्काल हस्तक्षेप की अपील की है. उन्होंने कहा है कि यदि समय रहते मदद नहीं मिली तो उनकी पत्नी और बच्ची की जान को भी खतरा हो सकता है.

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