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CAA के विरोध में देश भर के 22 कैम्पस 'सुलगे', सड़कों पर छात्र

aajtak.in
  • 16 दिसंबर 2019,
  • अपडेटेड 8:03 AM IST
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नागरिकता संशोधन कानून (CAA) के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन रुकने का नाम नहीं ले रहा है. विरोध-प्रदर्शन देशभर के 22 कैम्पस में हो रहे हैं. छात्र और छात्राएं भी प्रदर्शनों में बढ़-चढ़कर हिस्सा ले रहे हैं.

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इस मैप के माध्यम से साफ देखा जा सकता है कि CAA के खिलाफ विरोध-प्रदर्शन रुकने का नाम नहीं ले रहा है. राजधानी दिल्ली स्थित के पांच बड़े कैम्पस सहित कुल मिलाकर देश भर के 22 विश्वविद्यालयों/कॉलेजों में प्रदर्शन हो रहा है. 

आगे पढ़ें कौन-कौन से कैम्पसों में हुआ प्रदर्शन..

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दिल्ली के जेएनयू, जामिया मिलिया इस्लामिया, मौलाना आज़ाद, दिल्ली विश्वविद्यालय और आंबेडकर यूनिवर्सिटी में प्रदर्शन हुआ.

(तस्वीर- जामिया, दिल्ली)

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इसके अलावा मुंबई के तीन कैम्पस, टीआईएसएस, आईआईटी बॉम्बे और मुंबई यूनिवर्सिटी में प्रदर्शन हुआ. वहीं चंडीगढ़ विश्वविद्यालय में भी प्रदर्शन हुआ. 

(तस्वीर- टीआईएसएस, मुंबई)

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उत्तर प्रदेश की राजधानी लखनऊ स्थित दारुल उलूम नदवातुल उलामा में और अलीगढ़ मुस्लिम विश्वविद्यालय में सोमवार सुबह विरोध प्रदर्शन हुआ.

(तस्वीर- दारुल उलूम नदवा, लखनऊ)

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उधर पटना विश्वविद्यालय, गुवाहाटी विश्वविद्यालय और कोलकाता के दो कैम्पस, जादवपुर विश्वविद्यालय और आलिया विश्वविद्यालय में भी प्रदर्शन हुआ है.  

(तस्वीर- पटना)


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दक्षिण भारत की बात करें तो, हैदराबाद की मौलाना आजाद राष्ट्रीय उर्दू विश्वविद्यालय, बेंगलुरु की जैन यूनिवर्सिटी और भारतीय विज्ञान संस्थान में प्रदर्शन हुए.  


(तस्वीर- हैदराबाद विश्वविद्यालय)

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इसके अलावा चेन्नई स्थित आईआईटी मद्रास, मलप्पुरम की कालीकट यूनिवर्सिटी और पांडिचेरी विश्वविद्यालय में विरोध प्रदर्शन देखने को मिला.

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नागरिकता संशोधन कानून के विरोध प्रदर्शन ने तब तूल पकड़ा जब दिल्ली में रविवार को जामिया के छात्रों का प्रदर्शन हिंसक हो उठा और यूनिवर्सिटी में तोड़फोड़ के अलावा प्रदर्शनकारियों ने सरकारी बसों में भी आग लगा दी.  आग बुझाने के लिए दमकल की 4 गाड़ियां मौके पर पहुंची थीं. बसों में लगी आग बुझाने के दौरान ही प्रदर्शनकारियों ने गाड़ियों पर हमला कर दिया.

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मामला सोमवार को सुप्रीम कोर्ट में उठा. चीफ जस्टिस ने इस मामले में सख्ती बरती और कहा कि छात्र होना आपको इस प्रकार हिंसा का अधिकार नहीं देता है

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