बुंदेलखंड में विकास की नब्ज परखने पहुंचेंगे योगी पर आम फरियादी से रहेंगे दूर!

बुंदेलखंड में योगी का दौरा, अफसरों में खलबली.

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योगी आदित्यनाथ और बुंदेलखंड में पानी को तरसते लोग योगी आदित्यनाथ और बुंदेलखंड में पानी को तरसते लोग

संध्या द्विवेदी / मंजीत ठाकुर

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  • 10 अप्रैल 2018,
  • अपडेटेड 2:01 PM IST

झांसी। सूखा और पेयजल समस्या से जूझ रहे बुंदेलखंड की जमीनी नब्ज परखने खुद मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पहुंच रहे हैं. योगी 12 अप्रैल को अपने दो दिवसीय बुंदेलखंड दौरे की शुरूआत दतिया स्थित पीतांबरा पीठ के दर्शन से करेंगे. योगी के दौरे से घबराए अफसरों ने चाक-चौबंद प्लान भी बना डाला है. दरअसल इस प्लान के तहत कोई भी आम आदमी अपने मुख्यमंत्री के पास सीधे नहीं पहुंच पाएगा.

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भीषण गर्मी में योगी के इस दौरे से अफसरों के बीच खलबली मची है. उन्हें डर है कि यदि सीएम ग्राउंड पर गए तो उनकी मुश्किल बढ़ेंगी, इसलिए वह उनको शहर और बैठकों के कागजी आंकड़ों में उलझाने के लिए तैयार हो रहे हैं. ललितपुर जिला प्रदेश के अंतिम छोर पर होने के साथ ही सबसे पिछड़े जिलों में शुमार है.

यह पहला मौका होगा जब यहां बतौर मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ पहुंचेंगे. योगी के दौरे को लेकर प्रशासन मुस्तैद हो गया है. न सिर्फ सुरक्षा व्यवस्था चौकस रखने की माथापच्ची है, बल्कि अफसरों में विकास योजनाओं के क्रियान्वयन को लेकर भी आपसी समीक्षाओं का दौर शुरू हो गया है.

अफसरों की उड़ी नींद

एक दिन पहले ही लखनऊ में समीक्षा बैठक में योजनाओं के भौतिक स्तर पर फेल नजर आने और कागजी विकास को लेकर अफसरों को मुख्यमंत्री ने जमकर लताड़ लगाई थी. इसके बाद से अधिकारी इस बात को लेकर चिंतित हैं कि यदि मुख्यमंत्री ने यदि किसी गांव या विकास योजना का जमीनी सच जानने के लिए अचानक सर्वे किया तो उनकी टेंशन बढ़ सकती है.

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दरअसल पिछली बार जब योगी झांसी जिले के गांव पहुंचे थे तो वहां के खाली तालाबों को रातों-रात भरवा दिया गया था. यह बात योगी को पता भी चल गई थी, लेकिन उस समय उन्होंने इस पर कोई ठोस एक्शन नहीं लिया था. अब सरकार को बने पूरा एक साल हो गया हैं. सकते में रहेंगे अफसर क्योंकि, मुख्यमंत्री इस बार दो दिन के दौरे पर हैं और रात में विश्राम भी बुंदेलखंड में करना है तो ऐसे में अधिकारियों के माथे पर बल पड़ना लाजमी है.

...पर आम आदमी सीधे नहीं कर सकेगा फरियाद

वैसे इससे बचने के लिए प्रशासन ने चौकस घेरेबंदी करने का प्लान तैयार कर लिया है, जिसमें किसी भी आम आदमी या फरियादी को सीधे योगी के पास पहुंचने या फिर उनसे मिलने की अनुमति नहीं होगी. ऐसे में कोई भी अपनी समस्या को सीएम तक नहीं पहुंचा सकेगा.

इससे अधिकारी काफी हद तक अपनी नाकामियों पर पर्दा डाले रखने में कामयाब हो जाएंगे. लेकिन अफसरों के बीच इस बात की सुगबुगाहट भी है कि अगर योगी सुबह-सुबह किसी गांव में औचक निरीक्षण पर पहुंच गए तो क्या होगा?

अफसरों के बनाए प्लान की चार दीवारी में कैद रहेंगे योगी!

 बुंदेलखंड के कई इलाकों में पीने के पानी के लाले पड़ गए हैं. कई किलोमीटर दूर से ग्रामीणों को पानी लाना पड़ रहा है. पाईप पेयजल योजनाएं धरासाई हो गईं हैं। ऐसे में सीएम के सामने लोगों की प्यास बुझाना सबसे बड़ी चुनौती है. बुंदेलखंड निर्माण मोर्चा के अध्यक्ष भानु सहाय कहते हैं, भाजपा सरकार झूठी घोषणाएं करती है. बुंदेलखंड के हालात भयावह हो हैं. पीने तक का पानी नहीं है. लेकिन सीएम को यह नहीं दिखाई देगा. वह अपने अफसरों की चार दीवारी में कैद रहेंगे.

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ये रहेगा योगी का कार्यक्रम

मुख्यमंत्री 12 अप्रैल को विशेष विमा ने सुबह 10 बजे दतिया पहुंचेंगे. यहां मां पीतांबरा पीठ के दर्शन करने के बाद सीधे ललितपुर के लिए रवाना होंगे. 11.40 बजे ललितपुर पहुंचने के बाद वहां जन प्रतिनिधियों व पार्टी पदाधिकारियों से मिलकर अधिकारियों के साथ बैठक करेंगे.

पांच घंटे के प्रस्तावित कार्यक्रम में कल्याणपुरा गोवंश आश्रय स्थल समेत कई योजनाओं का शिलान्यास लोकार्पण करेंगे. यहां से वह शाम को चित्रकूट रवाना होंगे और चित्रकूट में कानून व्यवस्था व विकास की समीक्षा कर वहीं रात्रि विश्राम करेंगे. इसके साथ ही दूसरे दिन 13 अप्रैल को वह चित्रकूट से उरई के लिए रवाना हो जाएंगे. उरई में सीएम योनाओं की समीक्षा करेंगे.

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