ख़ाकी और खादी के रंग के फर्क को इसलिए इतना साफ रखा गया है ताकि कोई नेता और पुलिस में धोखा ना खा सके. मगर दिल्ली पुलिस पता नहीं क्यों अपनी हरकतों से खाकी को खादी बनाने पर तुली नज़र आ रही है. शाहीन बाग गोलीकांड को लेकर मंगलवार को दिल्ली पुलिस हैडक्वार्टर में एक सीनीयर पुलिस अफसर मीडिया से मुखातिब थे. लगा गोलीकंड पर कुछ बड़ा खुलासा होने जा रहा है. मगर जैसे ही उन्होंने बोलना शुरू किया, ऐसा लगा मानो खाकी के पीछे से खादी बोल रहा है. देखें वारदात.