हम रोजाना देशभर में भ्रष्टाचार से जुड़ी कई खबरें सुनते और देखते रहते हैं. कई अफसर और नेता भ्रष्टाचार में लिप्त होकर जेल की हवा खाते हैं, जिन्हें देखकर हमें लगता है कि हमारे देश में भ्रष्टाचार ने अपनी जड़ें काफी मजबूत कर ली हैं. जो कि अब टूटेंगी नहीं. लेकिन इस अंधकार में भी एक उम्मीद की किरण दिखाई देती है, जब हम केरल की एक पंचायत में क्लर्क के तौर पर काम करने वाले अब्दुल सलीम को देखते हैं.
लिखा ये संदेश
अब्दुल सलीम, केरल की एक पंचायत आंगड़ीपुर के पंचायत दफ्तर में क्लर्क के तौर पर कार्यरत हैं. वह यहां पर ईमानदारी की मिसाल बने हुए हैं. उनकी टेबल पर एक मैसेज लिखा है जिसे पढ़कर हर किसी का दिल खुश हो जाता है. सलीम की टेबल पर लिखा है कि 'सरकार मुझे रोजाना के 811 रुपये (24,340 रुपये मासिक) आपकी सेवा करने के लिए देती है, अगर आप मेरे काम से खुश नहीं हैं तो मुझे बता सकते हैं.'
लगातार होता बदलाव
42 वर्षीय सलीम पिछले तीन सालों में जब भी उनकी सैलरी में कोई बदलाव या बढ़ोतरी हुई है तो वह इस मैसेज में लगातार बदलाव करते हैं. जब कुछ लोगों ने इसे नोटिस किया तो इस मैसेज को सोशल मीडिया पर पोस्ट कर दिया, जिसके बाद यह वायरल हो गया. और अब वह भ्रष्टाचार के खिलाफ जंग में एक हीरो से बन गये हैं.
अपने काम के अलावा सलीम लोगों की कई अन्य प्रकार से भी मदद करते हैं. जैसे कि वह लगातार लोगों को उनके हितों और सरकार से मिलने वाले उनके हक के बारे में जानकारी देते रहते हैं.
पोलियो से पीड़ित हैं सलीम
अब्दुल सलीम लगभग 40 प्रतिशत तक पोलियो से पीड़ित हैं, फिर भी उनकी इस ईमानदार सोच पर कोई फर्क नहीं पड़ा है. वह लगातार लोगों की मदद करते हैं. ऑफिस में उनके साथ काम करने वाले उनके साथी और बॉस भी कहते हैं कि सलीम के कारण उनके ऑफिस में एक सकारात्मक माहौल रहता है, जो कि उन्हें भी उत्साहित करता है.
वैंकेया नायडू ने सराहा
केंद्रीय मंत्री वैंकेया नायडू ने भी अब्दुल सलीम की तारीफ में कई कसीदे पढ़े. उन्होंने ट्वीट कर कहा कि अब्दुल सलीम की इस सोच को सलाम करता हूं. लोगों की सेवा करना ही हर सरकारी कर्मचारी का भाव होना चाहिए.
मोहित ग्रोवर