पंजाब में राष्ट्रीय जांच एजेंसी (NIA) ने भगोड़े गैंगस्टर गोल्डी बरार और उसके साथियों से जुड़े 9 ठिकानों पर छापेमारी की. एनआईए ने जबरन वसूली और गोलीबारी के मामले से जुड़ी रेड में डिजिटल डिवाइस समेत आपत्तिजनक सामग्री जब्त की.
एनआईए की कार्रवाई चंडीगढ़ में एक पीड़ित के घर पर जबरन वसूली और गोलीबारी से संबंधित मामले को लेकर की गई थी. यह मामला मूल रूप से स्थानीय पुलिस ने इस साल 20 जनवरी को दर्ज किया था और एनआईए ने 18 मार्च को जांच अपने हाथ में ले ली थी.
जांच एजेंसी के एक आधिकारिक बयान के अनुसार सतिंदरजीत सिंह उर्फ गोल्डी बरार और उसके गिरोह के बारे में जानकारी के लिए लोगों से मदद भी मांगी गई है. चंडीगढ़ में दर्ज जबरन वसूली और गोलीबारी के मामले में एनआईए की टीमों ने बरार और उसके सहयोगियों से जुड़े 9 ठिकानों की तलाशी ली.
यह छापेमारी एनआईए द्वारा पिछले साल जयपुर में करणी सेना प्रमुख सुखदेव सिंह गोगामेड़ी की हत्या में संलिप्तता के लिए गोल्डी बरार और 11 अन्य आरोपियों के खिलाफ चार्जशीट दायर करने के एक दिन बाद की गई है. एनआईए ने टेलीफोन नंबर भी जारी किए हैं, जहां लोग आतंकवादी और उसके सहयोगियों के बारे में जानकारी या गिरोह से प्राप्त किसी भी धमकी भरे कॉल के बारे में जानकारी दे सकते हैं.
समाचार एजेंसी पीटीआई के मुताबिक एनआईए की ओर से जारी बयान में कहा गया है कि सूचना लैंडलाइन नंबर 0172-2682901 या मोबाइल नंबर 7743002947 (टेलीग्राम/व्हाट्सएप के लिए) पर साझा की जा सकती है. बयान में कहा गया है कि सूचना देने वाले की पहचान गुप्त रखी जाएगी.
एनआईए की जांच में पता चला कि गोल्डी बरार ने राजपुरा के गोल्डी नामक एक साथी के साथ मिलकर पंजाब, चंडीगढ़ और आसपास के इलाकों के व्यापारियों से जबरन वसूली की साजिश रची थी. उन्होंने बरार द्वारा बनाए गए आतंकवादी गिरोहों को हथियार और गोला-बारूद भी मुहैया कराए. जांच एजेंसी ने मोहाली, पटियाला, होशियारपुर और फतेहगढ़ साहिब जिलों में छापेमारी की. एनआईए ने बताया कि गोल्डी बरार और उसके साथी जो विदेश में रहते हैं, उन्होंने कमज़ोर युवाओं को अपने गिरोह में भर्ती किया.
दिव्येश सिंह