भले ही कर्नाटक की जंग खत्म हो गई है, मगर बजरंग दल को बैन करने वाला बयान मुद्दा बनकर अभी भी राजनीति में छाया हुआ है. ताजा बयान जमीयत उलेमा-ए-हिंद के अध्यक्ष अरशद मदनी ने दिया है. मदनी ने कहा है कि अगर कांग्रेस ने सत्तर साल पहले बजरंग दल को बैन करने का कदम उठाया होता तो आज देश के ऐसे हालात नहीं होते.