SKM ने कहा- अमित शाह ने किया था फोन, लंबित मांगों पर सरकार से बात करेंगे ये 5 किसान नेता

तीनों कृषि कानूनों की वापसी के बाद अब भी किसानों की कई मांगें हैं. किसान नेताओं ने 5 सदस्यों का एक पैनल बनाया है जो सरकार से बात करेगा. इसी बीच किसान नेताओं का ऐसा दावा भी है कि उन्हें बातचीत के लिए गृह मंत्री अमित शाह का फोन आया था.

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सरकार से बातचीत के लिए तय हुए 5 नाम. (फोटो- इंडिया टुडे) सरकार से बातचीत के लिए तय हुए 5 नाम. (फोटो- इंडिया टुडे)

अमित भारद्वाज / सुशांत मेहरा

  • नई दिल्ली,
  • 04 दिसंबर 2021,
  • अपडेटेड 1:50 AM IST
  • MSP पर कानून समेत कई मांगों पर अड़े हैं किसान
  • सरकार से बातचीत के लिए 5 सदस्यों का पैनल गठित

माना जा रहा है कि एक साल से जारी किसान आंदोलन अब खत्म हो सकता है. दरअसल, किसानों के मुद्दे को लेकर सरकार अब थोड़ी नरम होती दिखाई दे रही है. किसान नेता युद्धवीर सिंह ने दावा किया है कि गृह मंत्री अमित शाह से उनकी बात हुई है जिसमें सरकार का रुख सकारात्मक रहा. उन्होंने उम्मीद जताई कि जल्द ही कोई समाधान निकल जाएगा.

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युद्धवीर सिंह ने दावा किया है कि सरकार किसानों पर दर्ज केस वापस लेने को तैयार है. इसके साथ ही MSP की गारंटी को लेकर सरकार ने कमेटी बनाने की बात कही है, उस पर संयुक्त किसान मोर्चा तैयार है.

उन्होंने ये भी कहा कि सरकार के नरम रुख को देखते हुए ही संयुक्त किसान मोर्चा ने 5 सदस्यों का एक पैनल बनाया है जो सरकार से बात करेगी. हालांकि, उन्होंने ये भी कहा कि पंजाब की तरह हरियाणा को भी शहीद किसानों के परिवारों के लिए मुआवजे का ऐलान करना चाहिए.

युद्धवीर सिंह उन 5 सदस्यों में शामिल है जो किसानों की ओर से सरकार से बात करेंगे. सरकार से बातचीत के लिए संयुक्त किसान मोर्चा ने 5 सदस्यों का पैनल बनाया है जिसमें यूपी के युद्धवीर सिंह के अलावा एमपी से शिव कुमार कक्का, पंजाब से बलवीर राजेवाल, महाराष्ट्र से अशोक धावले और हरियाणा से गुरनाम सिंह चढ़ूनी का नाम शामिल है. 

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अशोक धावले ने भी आजतक से बातचीत में दावा किया है कि गृह मंत्री अमित शाह ने युद्धवीर सिंह और बलवीर राजेवाल से फोन पर बात की थी. धावले ने ये भी कहा कि तीनों कृषि कानूनों की वापसी भारतीय किसानों के लिए 'बड़ी जीत' है. 

संयुक्त किसान मोर्चा की अब 7 दिसंबर को अगली बैठक है. इसमें आगे की रणनीति पर चर्चा होगी. इस बारे में जब योगेंद्र यादव से पूछा गया कि क्या अगली बैठक में कोई फैसला होने की उम्मीद है तो उन्होंने कहा, 'सरकार की ओर से कुछ सकारात्मक संकेत मिले हैं इसलिए हमें उम्मीद है कि 7 तारीख को कुछ फैसले हो सकता है.'

किसान मोर्चा ने क्यों बनाया पैनल?

- SKM का मानना था कि सरकार कुछ लोगों को बुलाकर किसानों को तोड़ने की कोशिश कर रही थी.

- SKM का मानना है कि उनकी ओर से 5 लोग तय हो गए हैं और अब सरकार भी बातचीत के लिए किसी को नियुक्त करे.

- अगर सरकार बातचीत के लिए बुलाती है तो किसान संगठनों की ओर से यही पांचों सदस्य जाएंगे.

- सरकार से बातचीत के बाद यही पांचों सदस्य मोर्चा की बैठक में बात रखेंगे और आगे की रणनीति तय होगी.

और क्या मांगें हैं किसानों की?

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- एमएसपी की गारंटी का कानून बनाया जाए.

- आंदोलन के दौरान शहीद हुए किसानों के परिवारों को मुआवजा मिले.

- किसानों पर दर्ज मुकदमों को वापस लिया जाए.

- इलेक्ट्रिसिटी बिल और पराली बिल को निरस्त किया जाए.

- लखीमपुर खीरी हिंसा मामले में आरोपी आशीष मिश्रा के पिता और केंद्रीय गृह राज्य मंत्री अजय मिश्रा को बर्खास्त किया जाए.

सरकार से लिखित में चाहते हैं किसान

हालांकि, शिव कुमार कक्का ने आजतक को बताया कि वो सरकार से सबकुछ लिखित में चाहते हैं. उन्होंने कहा, 'हम सरकार के साथ आधिकारिक बातचीत करना चाहते हैं. वो जो भी वादा करते हैं उन्हें लिखित में देना होगा.'

 

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