जस्टिस यशवंत वर्मा मामले में सौंपी गई रिपोर्ट पर अब इंतजार है कि चीफ जस्टिस संजीव खन्ना क्या एक्शन लेते हैं, कौन सा कदम उठाते हैं. वैसे सीजेआई के समक्ष मोटे तौर पर तीन विकल्प हैं. जस्टिस वर्मा का तबादला तो हो चुका है. तीन अलग-अलग हाई कोर्ट के तीन जजों की इन हाउस कमेटी की रिपोर्ट आ चुकी है.
CJI के पास क्या विकल्प?
पहले विकल्प के तौर पर अब अगला सख्त कदम रिपोर्ट के आधार पर जस्टिस वर्मा को इस्तीफा देने के लिए कहना भी हो सकता है. एक और विकल्प ये है कि अगर रिपोर्ट में जस्टिस वर्मा को क्लीन चिट दी गई है तो सीजेआई उसे भी मान्यता दे सकते हैं. हालांकि सीजेआई पर रिपोर्ट को मानने की कोई बाध्यता नहीं है.
तीसरा विकल्प महाभियोग की प्रक्रिया शुरू करने का है. ये उस सूरत में होगा जब जस्टिस वर्मा इस्तीफा देने से इनकार कर दें. वैसी स्थिति में सीजेआई को निर्णय लेना होगा कि वे राष्ट्रपति को लिखें कि आरोपी जज के खिलाफ महाभियोग की प्रक्रिया शुरू को जाए. उसके बाद राष्ट्रपति के आदेश पर केंद्र सरकार प्रक्रिया आगे बढ़ाती है.
अभी तक किसी को महाभियोग के जरिए नहीं हटाया गया
हालांकि इतिहास गवाह है कि जब तक पानी सिर से ऊपर नहीं जाता तब तक आरोपी जज इस्तीफा नहीं देते. महाभियोग की तैयारी भी कई आरोपी जजों के खिलाफ हुई लेकिन सब ने एन वक्त पर इस्तीफा दे दिया. आज तक किसी भी आरोपी जज को महाभियोग के जरिए हटाया नहीं गया है.
संजय शर्मा