अंकित सक्सेना मर्डर केस में कोर्ट ने सुनाया फैसला, तीन दोषियों को उम्रकैद की सजा

दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट ने अंकित सक्सेना हत्याकांड मामले में फैसला सुनाते हुए तीन दोषियों के खिलाफ उम्रकैद की सजा का ऐलान किया है. कोर्ट ने इसके साथ ही दोषियों पर जुर्माना भी लगाया है.

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अंकित सक्सेना मर्डर केस (फाइल फोटो) अंकित सक्सेना मर्डर केस (फाइल फोटो)

सृष्टि ओझा / संजय शर्मा

  • नई दिल्ली,
  • 07 मार्च 2024,
  • अपडेटेड 3:01 PM IST

साल 2018 में हुए अंकित सक्सेना मर्डर (Ankit Saxena Murder) से जुड़े मामले में दिल्ली की तीस हजारी कोर्ट (Tis Hazari Court) ने अपना फैसला सुनाया है. अदालत ने मामले में तीन दोषियों को उम्रकैद की सजा सुनाई है. इसके अलावा हर दोषी पर पच्चास हजार रुपए का जुर्माना भी लगाया गया है, जो रकम अंकित सक्सेना के परिवार को दी जाएगी. कोर्ट ने मोहम्मद सलीम, अकबर अली और उसकी पत्नी शाहनाज बेगम के खिलाफ सजा का ऐलान किया है.

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अदालन ने कहा कि दोषियों की उम्र और आपराधिक रिकॉर्ड को देखते हुए मौत की सजा नहीं दी जा रही है.

अंतर धार्मिक विवाह था हत्या की वजह
पश्चिमी दिल्ली के रघुबीर नगर में फरवरी 2018 में अंतर धार्मिक विवाह की वजह से अंकित सक्सेना की हत्या कर दी गई थी. पिछले हफ्ते बहस पूरी करते हुए कोर्ट ने अपना फैसला सुरक्षित रख लिया था. अदालत ने हत्या के लिए अंकित की प्रेमिका की मां शहनाज बेगम, पिता अकबर अली और मामा मोहम्मद सलीम को दोषी करार दिया था.

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कोर्ट ने फैसला सुरक्षित रखने से पहले कहा था कि अभियोजन पक्ष यह साबित करने में सफल रहा कि अंकित की हत्या दूसरे समुदाय की लड़की के साथ प्रेम संबंध होने की वजह से की गई थी. अदालत ने इस मामले में अंकित सक्सेना के दोस्त नितिन की गवाही दर्ज की थी. घटना के बाद पीड़ित परिवार ने मोहल्ला छोड़ दिया था और ए-ब्लाक से मकान बदलकर बी-ब्लाक में रहने के लिए आ गए थे.

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लड़की ने अपने परिवारजनों को बताया था हत्या का दोषी
अंकित सक्सेना की प्रेमिका शहजादी ने अपनी जान को खतरा होने का दावा किया था, जिसके बाद उसे नारी निकेतन भेज दिया गया. लड़की ने इंडिया टुडे से विशेष बातचीत में बताया था कि उसके प्रेमी अंकित की ऑनर किलिंग के लिए उसके परिवार वाले ही जिम्मेदार हैं और वह उनसे डरी हुई है. उसने कहा था कि जब मुझे पता चला (अंकित को लेकर परिवार वालों की योजना) तो मैं उससे मिलने जा रही थी. फिर पता चला कि मेरे परिवार ने उसे मार डाला है. मेरे मामा ने यह किया है. 

लड़की ने बताया था कि अंकित और मैं शादी करने वाले थे. पुलिस की जांच में पता चला था कि अपराध में इस्तेमाल किया गया हथियार शहजादी के पिता का था, जो पेशे से कसाई है.ट

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पुलिस के मुताबिक लड़की के छोटे भाई, मां, ​पिता और मामा ने अंकित को रास्ते में रोक लिया था. उनके हाथ में चाकू देखकर अंकित ने अपने लव अफेयर को नकारा था, जिससे उसकी जान बच सके.

कौन था अंकित सक्सेना?
23 वर्षीय अंकित सक्सेना फोटोग्राफर था. गर्लफ्रेंड शहजादी के साथ अंकित तीन साल से रिलेशनशिप में था. लड़की का परिवार इस रिश्ते के खिलाफ था क्योंकि दोनों अलग-अलग समुदाय से संबंध रखते थे. वारदात के दिन लड़की (अंकित की प्रेमिका) घर से निकल गई थी. इसके बाद उसके पिता अकबर अली, मां शहनाज बेगम और मामा मोहम्मद सलीम ने घटना को अंजाम दिया. 

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'नाबालिग भाई भी आरोपी, जुवेनाइल बोर्ड में केस'
एडिशनल सेशन जज सुनील कुमार शर्मा ने माता-पिता अकबर अली और शाहनाज बेगम और मामा मोहम्मद सलीम को भारतीय दंड संहिता (IPC) की धारा 302 (हत्या) और 34 (सामान्य इरादा) के तहत अपराध का दोषी ठहराया था. मामले में लड़की का नाबालिग भाई भी आरोपी है, जिसके खिलाफ जुवेनाइल जस्टिस बोर्ड में मामला चल रहा है.

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'दोनों के रिश्ते खत्म नहीं हुए तो...'
पिछले दिनों सुनवाई के दौरान अदालत ने कहा था कि यह साबित हो गया है कि दोस्ती की वजह से परिवार के सदस्यों ने अपना निवास स्थान बदल लिया था, लेकिन जब दोनों के रिश्ते खत्म नहीं हुए तो 1 फरवरी, 2018 को सभी आरोपियों ने अपने सामान्य इरादे को आगे बढ़ाने के लिए चाकू से अंकित का गला काटकर हत्या कर दी.

'रोज फोन पर बात करते थे अंकित और प्रेमिका' 
जिस लड़की के साथ अंकित रिलेशनशिप में था, उसके बयान पर गौर करते हुए कोर्ट ने कहा था कि अंकित और लड़की दोस्त थे और रोजाना टेलीफोन पर बातचीत करते थे. अदालत ने कहा कि संबंधित गवाहों ने इस बारे में भी गवाही दी है कि किस तरह से झगड़ा हुआ और पीड़ित का गला काटा गया. दिल्ली पुलिस की तरफ से विशेष लोक अभियोजक विशाल गोसाईं और रेबेका मैमन जॉन पेश हुए थे.

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1 फरवरी 2018 की कहानी, अंकित की मां की जुबानी...
'रात के 8 बजे होंगे, अंकित काम से लौटा और बैग रखकर बाहर चला गया. मैं खाने की तैयारी में जुटी थी, तभी एक लड़का दौड़ता हुआ आया और कहा कि अंकित से गली में कुछ लोग लड़ रहे हैं. इसके पापा ऊपर काम कर रहे थे, उन्हें बताया तो कहा कि हाथ का काम निपटाकर आता हूं. मैं भागती हुई नीचे गई तो देखा कि हमारे पुराने पड़ोसी गाली-गलौज कर रहे थे. चिल्ला रहे थे कि बता, हमारी बेटी को कहां छिपा रखा है, वरना मार देंगे. इधर मेरा बेटा लगातार बोले जा रहा था- आंटी मुझे शहजादी (अंकित की गर्लफ्रेंड) का नहीं पता. आप पुलिस को बुलवा लीजिए. मैं यहीं खड़ा रहूंगा.

अकित की मां आगे कहती हैं- मैं बीच-बचाव करने लगी तो लड़की की मां मेरे ऊपर टूट पड़ी, वो गाली देते हुए मारपीट कर रही थी. इसके बाद जब अंकित मुझे बचाने आया तो लड़की के भाई और मामा ने उसके हाथ पकड़ लिए. पीछे से उसके पापा आए, मेरे बेटे के बाल खींचकर उसकी गर्दन अपनी ओर झुकाई और एक ही झटके में चाकू से काट दिया... जैसे पूरी प्लानिंग करके आए हों. वो जिस लड़की की बात कर रहे थे, उसके साथ मेरा बेटा बचपन में खेलता-कूदता था, 8-10 साल के रहे होंगे. गली के सब बच्चे साथ ही रहते, कैसे समझ आता कि वे ऐसा कर देंगे.'

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