हिमाचल प्रदेश के मंडी शहर में सोमवार रात बादल फटने से आई फ्लैश फ्लड ने भारी तबाही मचाई. तेज बारिश के चलते सुकाटी नालों का पानी शहर में घुस गया और लगभग पांच किलोमीटर के इलाके में मलबा भर गया. सबसे ज्यादा नुकसान जेल रोड, सैनी मोहल्ला और जोनल अस्पताल क्षेत्र में हुआ है.
इस हादसे में तीन लोगों समेत मां-बेटे की भी मौत हुई है. मृतकों की पहचान बलबीर सिंह, अमरप्रीत सिंह और उनकी मां सपना के रूप में हुई है. दरशन सिंह घायल हैं और मंडी जोनल अस्पताल में भर्ती हैं. एक महिला अभी भी लापता है.
बादल फटने से आई तबाही
मंडी के डिप्टी कमिश्नर अपूर्वा देवगन ने बताया कि राहत और बचाव कार्य जारी है और अब तक 15 से 20 लोगों को बचाया जा चुका है. कई घरों को नुकसान पहुंचा है. कई लोग सुरक्षित स्थानों पर या रिश्तेदारों के घर चले गए हैं. विपाशा सदन में राहत शिविर लगाया गया है.
एनडीआरएफ, पुलिस और होम गार्ड की टीमें बचाव कार्य में लगी हैं. लोक निर्माण विभाग, बिजली और जल शक्ति विभाग की टीमें सड़कों को साफ करने और बिजली-पानी बहाल करने में जुटी हैं. अब तक मंडी जिले में 269 सड़कें बंद हैं जिनमें 3 नेशनल हाइवे भी शामिल हैं. 649 ट्रांसफार्मर और 98 जल आपूर्ति योजनाएं प्रभावित हुई हैं.
मां-बेटे समेत तीन लोगों की मौत
चंडीगढ़-मनाली हाईवे का कुछ हिस्सा बह गया है. मंडी सदर में स्कूल, कॉलेज और आंगनबाड़ी केंद्र बंद रखे गए. इस घटना का वीडियो सोशल मीडिया पर वायरल हो रहा है. अब तक मानसून में हिमाचल को 1523 करोड़ रुपये का नुकसान हो चुका है. 90 लोगों की मौत और 35 लापता हैं. 1320 मकान पूरी या आंशिक रूप से क्षतिग्रस्त हुए हैं.
अमन भारद्वाज