डीएमके सांसद दयानिधि मारन ने बीजेपी और तमिलनाडु की अन्नाद्रमुक सरकार पर जमकर निशाना साधा. उन्होंने कहा कि भारतीय जनता पार्टी (बीजेपी) प्रोपगैंडा और सतही मसलों के जरिये सभी ज्वलंत मुद्दों को दबा दे रही है.
चेन्नई में आयोजित इंडिया टुडे कॉन्क्लेव साउथ 2021 के मंच पहुंचे दयानिधि मारन ने कहा कि दुर्भाग्य से बीजेपी का प्रचार तंत्र इतना मजबूत है कि सतही मसलों के माध्यम से ज्वलंत मुद्दों को दबा दे रही है. जब भ्रष्टाचार के मुद्दे पर सवाल किया गया तो उन्होंने कहा कि जयललिता के निधन के बाद बीजेपी तमिलनाडु में सत्ता संचालित कर रही है. दयानिधि मारन ने कहा कि अन्नाद्रमुक की दिवंगत नेता कई मामलों में दोषी करार दी गई थीं. आज वह जीवित होतीं तो जेल में रहतीं. जेल जाने वाली वह भारत की पहली मुख्यमंत्री होतीं. अगर वह जिंदा होतीं तो जेल में होतीं और शशिकला बाहर रहतीं.
जयललिता युग के बाद माना जा रहा था कि डीएमके अन्नाद्रमुक को तोड़ देगी, लेकिन मुख्यमंत्री पलानीस्वामी ने कहा कि उन्होंने इस धारणा को कारगर साबित नहीं होने दिया. इस पर दयानिधि मारन ने कहा कि तमिलनाडु में बीजेपी सरकार चला रही है. वे तमिलनाडु में राष्ट्रीय स्वयंसेवक संघ (RSS) की नीतियों को आगे बढ़ा रहे हैं. भारत बहुलतावादी, धर्मनिरपेक्ष देश है, आप इससे इनकार नहीं कर सकते हैं.
दयानिधि मारन ने कहा कि वे (बीजेपी) इतिहास बदलना चाहते हैं, लेकिन बताइए जो नेहरू ने कर दिया उसे बदला जा सकता है. वे हिंदी थोपने की कोशिश कर रहे हैं. समाज के कुछ हिस्सों में संस्कृत को थोप रहे हैं. हमें संस्कृत क्यों सीखना चाहिए.
दयानिधि मारन ने कहा, 'मैं उतना ही हिंदू हूं जितना आप हैं. हम समान अधिकार चाहते हैं. हम समानता चाहते हैं. द्रविड़ नेता ही थे जिनकी वजह से आरक्षण है. देश को बांटने का काम मत करो. जब चुनाव आते हैं बीजेपी को धर्म क्यों याद आने लगता है? तमिलनाडु के लोग बहुत शांत हैं, वे धर्मनिरपेक्षता में विश्वास करते हैं. वे बीजेपी को यहां से बाहर निकाल फेकेंगे.'
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