उत्तर प्रदेश के लखीमपुर में एक रेप पीडिता ने पूर्व एसपी से जान का खतरा बताते हुए उसे सुरक्षा दिए जाने की मांग की है. पीडिता ने पूर्व एसपी पर रेप के आरोपियों की मदद करने और उसे धमकाने का आरोप लगाया था. जिसके बाद सीएम अखिलेश यादव ने एसपी को सस्पेंड कर दिया था.
मामला लखीमपुर जिले का ही है. जहां 2014 में एक नाबालिग युवती का अपहरण कर उसके साथ रेप किया गया था. पीडिता के घरवालों ने पुलिस में मामला दर्ज कराया था. मगर जिले के तत्कालीन एसपी ने महिला की कोई मदद नहीं की थी. बाद में पीडिता ने एसपी पर आरोपियों की मदद करने का आरोप लगाया था.
मामला मीडिया में आने पर सूबे के मुख्यमंत्री अखिलेश यादव ने तत्कालीन पुलिस अधीक्षक को सस्पेंड कर दिया था. और मामले की जांच सीबीसीआईडी को सौंप दी थी. सीबीसीआईडी मामले की जांच कर रही थी. इसी दौरान जब पीड़ित परिवार लखनऊ में बयान दर्ज कराने पंहुचा तो तत्कालीन पुलिस अधीक्षक एसके ने परिवार और पीडिता को डराने धमकाने की कोशिश की.
पूर्व एसपी की धमकी से परेशान होकर पीड़ित परिवार ने लखीमपुर के वर्तमान एसपी को प्रार्थना पत्र देकर सुरक्षा दिए जाने की गुहार लगाई है. और साथ ही आरोपी पूर्व एसपी एसके के खिलाफ करवाई की मांग भी की है. अब लखीमपुर पुलिस इस मामले में जांच किए जाने की बात कर रही है.
परवेज़ सागर