झारखंड के गुमला जिले में सुरक्षा बलों के साथ मुठभेड़ में प्रतिबंधित माओवादी संगठन (PLFI) का एक सदस्य मारा गया, जिस पर 15 लाख रुपये का इनाम घोषित था. मारा गया नक्सली प्रतिबंधित संगठन का सुप्रीमो-सह-क्षेत्रीय कमांडर था.
एक वरिष्ठ अधिकारी ने बताया कि पीपुल्स लिबरेशन फ्रंट ऑफ इंडिया (पीएलएफआई) के सदस्यों और सुरक्षाकर्मियों के बीच मंगलवार रात करीब 9.30 बजे कामडारा थाना क्षेत्र के चंगाबाड़ी उपरटोली इलाके में उस समय गोलीबारी हुई, जब सुरक्षा बल तलाशी अभियान चला रहे थे.
उन्होंने बताया कि मृतक की पहचान मार्टिन केरकेट्टा के रूप में हुई है, जो प्रतिबंधित संगठन का सुप्रीमो-सह-क्षेत्रीय कमांडर था और झारखंड के सात जिलों के कई पुलिस थानों में दर्ज 72 मामलों में वांछित था.
गुमला के पुलिस अधीक्षक (SP) हारिस बिन ज़मान ने पीटीआई को बताया, 'जैसे ही सुरक्षा बल चंगाबाड़ी उपरटोली पहुंचे, माओवादियों ने उन पर गोलीबारी शुरू कर दी. सुरक्षाकर्मियों ने भी जवाबी कार्रवाई की, जिसमें पीएलएफआई सुप्रीमो और क्षेत्रीय कमांडर मार्टिन केरकेट्टा मारा गया. उसके पास से एक पिस्तौल भी बरामद की गई.'
गुमला के एसपी ने बताया कि उन्हें इलाके में कुछ माओवादियों की मौजूदगी की सूचना मिली थी और इसके आधार पर अभियान चलाने के लिए कई टीमें गठित की गईं. उन्होंने कहा, 'मुठभेड़ के दौरान चार माओवादी मौजूद थे. तीन अंधेरे का फायदा उठाकर मौके से भागने में सफल रहे.'
उन्होंने बताया कि केरकेट्टा 72 मामलों में वांछित था, जिनमें गुमला में 30, सिमडेगा में छह, चाईबासा में चार, चतरा में एक, हजारीबाग में तीन, रांची में 11 और खूंटी जिले में 17 मामले शामिल हैं.
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