Pakistan International Airlines Sold: बिक गई पाकिस्तान की सरकारी एयरलाइन PIA... 135 अरब में सौदा, जानिए किसने खरीदा

Pakistan Airline PIA Sold: पाकिस्तान की शहबाज शरीफ सरकार को देश की सरकारी एयरलाइन कंपनी पीआईए (PIA) तक बेचनी पड़ी है. ये सौदा 135 अरब रुपये में हुआ है.

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पाकिस्तान की सरकार एयरलाइन कंपनी बिकी (File Photo: ITG) पाकिस्तान की सरकार एयरलाइन कंपनी बिकी (File Photo: ITG)

आजतक बिजनेस डेस्क

  • नई दिल्ली,
  • 24 दिसंबर 2025,
  • अपडेटेड 2:45 PM IST

कंगाल पाकिस्तान (Pakistan) के हाल बेहाल हैं, आईएमएफ समेत तमाम मित्र देशों की आर्थिक मदद भी उसे संकट से उबार नहीं पा रही है. अब हालात यहां तक खराब हो चुके हैं कि शहबाज शरीफ सरकार को पाकिस्तान की सरकारी एयरलाइन कंपनी पीआईए (PIA) तक बेचनी पड़ी है. ये सौदा 135 अरब पाकिस्तानी रुपये में हुआ है. पाकिस्तान ने मंगलवार को नेशनल फ्लैग-कैरियर के प्राइवेटाइजेशन प्रोसेस को सफलतापूर्वक पूरा किया और Pakistan International Airline को एक लोकल इन्वेस्टमेंट कंपनी के लीडरशिप वाले कंसोर्टियम को बेच दिया.

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पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस (PIA) का निजीकरण करने की सेरेमनी इस्लामाबाद में हुई, जहां लकी सीमेंट, प्राइवेट एयरलाइन एयरब्लू और इन्वेस्टमेंट फ़र्म आरिफ हबीब समेत तीनों प्री-क्वालिफाइड पार्टियों ने अपनी सीलबंद बिड्स एक ट्रांसपेरेंट बॉक्स में जमा कीं. दूसरे चरण में जब ये बिड्स खोली गईं, तो आरिफ हबीब सबसे ज्यादा बड़े बिडर बनकर सामने आए. 

आरिफ हबीब के हाथ लगी PIA
बिड खुलने के बाद, पाकिस्तान सरकार की ओर से बताया गया कि घाटे में चल रही पाकिस्तान इंटरनेशनल एयरलाइंस के लिए रेफरेंस प्राइस 100 अरब रुपये तय किया गया था. नियमों के तहत सबसे अधिक बोली लगाने वाले दो लोगों को शुरुआती ऑक्शन प्रोसेस में मुकाबला करने का मौका दिया गया. आरिफ हबीब और लकी सीमेंट दोनों ने एयरलाइन को जीतने के लिए कड़ा मुकाबला दिखाया और बिड बोली की रकम को बढ़ाते गए. जब आरिफ हबीब ग्रुप ने 135 अरब रुपये का ऑफर दिया, तो लकी सीमेंट के एक सदस्य ने उन्हें बधाई दे दी. 

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शहबाज सरकार का क्या था प्लान? 
रिपोर्ट के मुताबिक, सरकार PIA में 75% हिस्सेदारी ऑफर कर रही थी, लेकिन सफल बोली लगाने वाले के पास अब बाकी की बची 25% स्टेकहोल्डिंग खरीदने के लिए 90 दिन का समय होगा. नियमों के मुताबिक, PIA के शुरुआती 75 फीसदी हिस्सेदारी की बिक्री से होने वाली कमाई का 92.5 फीसदी एयरलाइन को रीइन्वेस्टमेंट के लिए दिया जाएगा, जबकि बाकी 7.5 फीसदी हिस्सेदारी का पैसा सरकार को ट्रांसफर किया जाएगा. इसके अलावा इन्वेस्टर को अगले 5 सालों में 80 अरब रुपये का निवेश भी करना होगा.

लाइव प्रसारित हुई बिडिंग प्रक्रिया
Pakistan Airlines को बेचे जान के दौरान पारदर्शिता के मद्देनजर सरकार ने पूरा बिडिंग प्रोसेस लोकल टेलीविजन पर लाइव किया था. यह नीलामी एयरलाइन को बेचने की दूसरी कोशिश थी. इससे पहले बीते साल भी सरकार ने ये प्रयास किया था, लेकिन कीमत नहीं मिलने से ये टल गई थी. PM Shahbaz Sharif ने फ़ेडरल कैबिनेट की एक मीटिंग में सरकारी अधिकारियों और प्राइवेटाइज़ेशन कमीशन को PIA  के प्राइवेटाइज़ेशन में रोल निभाने के लिए धन्यवाद दिया.

कभी PIA का दबदबा, फिर ऐसे डूबी
पाकिस्तानी प्रधानमंत्री शहबाज शरीफ ने इससे पहले कहा था कि PIA का सौदा पाकिस्तान के इतिहास में अब तक का सबसे बड़ा ट्रांजैक्शन होगा. गौरतलब है कि Pakistan International Airlines कभी दुनिया की सबसे बड़ी एयरलाइन रह चुकी थी, लेकिन सालों के मिसमैनेजमेंट ने इसकी सर्विसेज और साख दोनों को डुबो दिया, जिससे आखिरकार सरकार के पास इसे बेचने के अलावा कोई ऑप्शन नहीं बचा था. 

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