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Parliament Monsoon Session: लगातार तीसरे दिन भी ठप रहा संसद का कामकाज, विपक्ष ने जमकर किया प्रदर्शन

संसद के मॉनसून सत्र में कामकाज तीसरे दिन भी नहीं हुआ. महंगाई और GST की दरों में वृद्धि को लेकर, विपक्ष का रुख लगातार आक्हंरामक बना हुआ है.

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लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला
लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला
स्टोरी हाइलाइट्स
  • महंगाई और GST के विरोध में विपक्ष का प्रदर्शन
  • सत्र के तीसरे दिन भी नहीं हो सका काम

संसद के मॉनसून सत्र का बुधवार तीसरा दिन था. महंगाई और GST की दरों में वृद्धि को लेकर, विपक्ष का हंगामा सत्र के शुरुआत से ही चल रहा है. सत्र के तीसरे दिन भी विपक्ष का रुख आक्रामक रहा और प्रदर्शन की वजह से संसद का कामकाज तीसरे दिन भी ठप रहा. 

राज्यसभा में चर्चा के लिए सभापति ने हामी भरी

राज्यसभा में विपक्ष के नेता मल्लिकार्जुन खडगे महंगाई के मुद्दे पर चर्चा करने की अनुमति चाह रहे थे. सभापति एम वैंकैया नायडू ने कहा कि मैं इस मुद्दे पर चर्चा करने के लिए राजी हूं. लेकिन विपक्ष ने तब भी हंगामा जारी रखा, इसलिए सभा को दोपहर 2 बजे तक के लिए स्थगित कर दिया गया. दोपहर 2 बजे राज्यसभा की कार्यवाही एक बार फिर से शुरू हुई. सामूहिक विनाश के हथियार और उनके डिलिवरी सिस्टम, गैरकानूनी गतिविधियों पर प्रतिबंध संशोधन बिल 2022 पर चर्चा की जानी थी. लेकिन विपक्ष का हंगामा जारी रहा और कार्यवाही रोकनी पड़ी. 

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राज्यसभा के सभापति एम वैंकेया नयडू 

लोकसभा में शून्य काल में चर्चा करने को तैयार थे अध्यक्ष

उधर लोकसभा में शुरुआत प्रश्नकाल से हुई. लेकिन विपक्ष की नारेबाजी लगातार चल रही थी. लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला ने प्रदर्शनकारी सदस्यों को समझाते हुए कहा, 'ये सदन चर्चा और संवाद के लिए है. मैं आपको शून्यकाल में महंगाई के मुद्दे पर चर्चा करने की अनुमति दूंगा. ये सदन नारेबाजियों के लिए नहीं है. आप सदन की गरिमा को गिरा रहे हैं, जो सदन के लिए उचित नहीं है.'

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उन्होंने आगे कहा, 'हमारे लोकतंत्र का सबसे महत्वपूर्ण काल- अमृत काल चल रहा है. आप चर्चा करें, संवाद करें, समहमति करें या असहमति करें, आप आलोचना करें, मैं सबको अनुमति दूंगा. लेकिन एक प्रक्रिया होती है. आपका ये रवैया संसदीय व्यवस्था के लिए उचित नहीं है. मैं आपसे एक बार फिर आग्रह करूंगा, उसके बाद आग्रह भी नहीं करूंगा. मैं फिर कह रहा हूं, प्रश्नकाल के बाद शून्यकाल में बोलने की अनुमति दूंगा.' हालांकि इसपर भी नारेबाजी चलती रही. विपक्ष ने अध्यक्ष की बात की अनसुनी की. 

 

बार-बार समझाने और आश्वासन देने के बाद भी, विपक्ष ने लोकसभा अध्यक्ष ओम बिरला की बात नहीं मानी. उन्होंने साफ तौर पर कहा कि आप लोग अपनी सीटों पर वापस जाएं, हम शून्यकाल में महंगाई के मुद्दे पर चर्चा करेंगे, लेकिन विपक्ष वापस सीटों पर जाने के लिए तैयार ही नहीं था. अध्यक्ष ने सदन की कार्यवाही दोपहर दो बजे तक के लिए स्थगित कर दी.

'कांग्रेस चर्चा में नहीं, व्यवधान पैदा करने में दिलचस्पी रखती है'

उधर केंद्रीय मंत्री प्रह्लाद जोशी ने कहा, 'कांग्रेस महंगाई के मुद्दे पर संसद में बहस की मांग कर रही है, और आरोप लगाया जा रहा है कि सरकार नहीं मान रही है. मैं साफ तौर पर कहना चाहता हूं कि सरकार चर्चा के लिए तैयार है. वित्त मंत्री निर्मला सीतारमण, जिन्हें इस मामले पर जवाब देना है, उन्हें कोविड हुआ है. जैसे ही वे ठीक हो जाती हैं, बीएसी फैसला करती है और दोनों चेयर से अनुमति मिलती है, तो हम चर्चा के लिए तैयार हैं. उन्होंने आरोप लगाया कि कांग्रेस रचनात्मक बहस में नहीं, बल्कि व्यवधान पैदा करने में दिलचस्पी रखती है.

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दोपहर 2 बजे लोकसभा में चेयर पर पीवी मिधुन रेड्डी थे. नियम 377 के अधीन मामले उठाए जा रहे थे, लेकिन विपक्ष ने यह भी होने नहीं दिया. कार्यवाही 4 बजे तक के लिए स्थगित कर दी गई. 4 बजे लोकसभा में शून्यकाल शुरू हुआ लेकिन कार्यवाही 6 मिनट से ज्यादा नहीं चल सकी. 

 

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