इजरायल पर बैलिस्टिक मिसाइल से हमले की योजना में ईरान, इन जगहों को बना सकता है निशाना

लेबनान में हवाई हमले के बाद इजरायली की सेना ने अब जमीनी सैन्य अभियान शुरू कर दिया है. लेबनान के अंदर घुसी इजरायली सेना का कहना है कि इस सैन्य अभियान का मकसद हिज्बुल्लाह के बुनियादी ढांचे को तबाह करना है. दूसरी तरफ ईरान इजरायल पर बड़े हमले की तैयारी कर रहा है.

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लेबनान में हवाई हमले के बाद इजरायली की सेना ने अब जमीनी सैन्य अभियान शुरू कर दिया है. लेबनान में हवाई हमले के बाद इजरायली की सेना ने अब जमीनी सैन्य अभियान शुरू कर दिया है.

aajtak.in

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  • 01 अक्टूबर 2024,
  • अपडेटेड 9:35 PM IST

लेबनान में भीषण हवाई हमले के बाद अब इजरायल की सेना ने जमीनी सैन्य अभियान शुरू कर दिया है. इजरायली सेना का कहना है कि इस सैन्य अभियान का मकसद सीमा के पास मौजूद हिज्बुल्लाह के बुनियादी ढांचे को तबाह करना है. ये सैन्य कार्रवाई सीमित दायरे में होगी. दूसरी तरफ ईरान इजरायल पर बड़े हमले की तैयारी कर रहा है. ब्रिटिश सरकार के सूत्रों के अनुसार ईरान इजरायल पर बैलिस्टिक मिसाइल से हमले की योजना में है.

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व्हाइट हाउस और रक्षा विभाग के एक वरिष्ठ अधिकारी ने आज कहा कि ईरान इजरायल में नागरिक इलाकों की बजाए सैन्य और सरकारी जगहों को निशाना बना सकता है. हालांकि, इजरायल ने भी पलटवार की पूरी तैयारी कर रखी है. प्रधानमंत्री बेंजामिन नेतन्याहू ने एक वीडियो संदेश में कहा कि ईरान परमाणु हथियार और विदेशी युद्धों में अपने पैसे बर्बाद कर रहा है, जो कि लोगों की शिक्षा, स्वास्थ्य और देश के विकास में लगाया जा सकता था.

न्यूज एजेंसी रॉयटर्स के मुताबिक, इजरायल ने 17 सितंबर को लेबनान में पेजर और वॉकी-टॉकी में कई विस्फोट किए थे. इन धमाकों में 39 लोगों की जान गई थी. मरने वालों में हिज़्बुल्लाह के लड़ाकों के साथ आम नागरिक भी शामिल थे. इसके बाद लेबनान में इजरायली कार्रवाई लगातार जारी है. इस कार्रवाई में हिज्बुल्लाह चीफ हसन नसरल्लाह तक मारा जा चुका हैं. अब इजरायली डिफ़ेंस फोर्सेस दक्षिणी लेबनान में जमीनी सैन्य कार्रवाई कर रही है.

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इजरायल की इस सैन्य कार्रवाई को लेकर लेबनान की राजधानी बेरूत में कैबिनेट की आपातकालीन बैठक हुई. इसमें देश पर आए संकट को लेकर चर्चा हुई. बैठक के बाद लेबनान के कार्यवाहक प्रधानमंत्री नजीब मिकाती ने इजरायल की कड़ी आलोचना की और कहा कि जहां लेबनान इस संकट के समाधान के लिए संयुक्त राष्ट्र गया, वहीं इजरायल ने विश्वासघात को चुना. लेबनान में इजरायली जमीनी सैन्य कार्रवाई का फ्रांस ने भी विरोध किया है. 

इससे पहले सोमवार की सुबह इजरायल ने लेबनान की राजधानी बेरूत के रिहायशी इलाकों में कई हवाई हमले किए. कोला इलाके में मिसाइल से एक बहुमंजिला आवासीय इमारत को निशाना बनाया. इसमें कम से कम 4 लोगों की मौत हो गई, वहीं कई लोग घायल हो गए. इसके साथ ही आईडीएफ ने हमास के लेबनान चीफ फ़तेह शेरिफ़ को मार गिराने का दावा किया. इसके साथ ही लेबनान आर्मी के एक जवान की भी मौत हो गई.

आईडीएफ ने बताया कि आतंकवादी संगठन हमास के लेबनान शाखा के प्रमुख फतेह शेरिफ को एयरफोर्स के सटीक हमले में मार गिराया गया. वो लेबनान में हमास की आतंकवादी गतिविधियों को हिज्बुल्लाह के लड़ाकों के साथ समन्वयित करने के साथ भर्ती और हथियारों की सप्लाई का काम देखता था. शेरिफ यूनाइटेड नेशन रिलीफ एंड वर्क्स एजेंसी का मान्यता प्राप्त सदस्य था. लेबनान में उसके शिक्षक संघ का प्रमुख था.

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बताया जा रहा है कि एक साल के संघर्ष में पहली बार ऐसा हुआ जब इजरायल ने मध्य बेरूत के रिहायशी इलाकों पर हमले किए है. इजरायल की ओर से लगतार हो रहे हमले को लेकर लेबनान के कार्यवाहक प्रधानमंत्री नाजिब मिकाती ने कहा कि इजरायल को रोकने के लिए उनके पास कूटनीतिक विकल्प के अलावा और कोई विकल्प नहीं हैं. उन्होंने एक बयान में कहा, ''हम कूटनीति की भूमिका पर विचार करने में एक क्षण भी संकोच नहीं करेंगे.''

इसके साथ ही लेबनान के प्रधानमंत्री ने बताया कि इजरायल के लगातार जारी हवाई हमलों की वजह से पूरे देश में 10 लाख से ज्यादा लोगों को विस्थापित होना पड़ा है. और ये अभी तक का हुआ सबसे बड़ा विस्थापन है. लेबनान के स्वास्थ्य मंत्रालय ने जानकारी दी कि रविवार को हुए इजरायली हवाई हमलों में 50 से ज्यादा लोगों की जान चली गई. सबसे ज्यादा जाने सिडोन शहर में गई, जहां पर दो इमारतों को निशाना बनाया गया.

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