बेखौफ कट्टरपंथियों और लाचार हुकूमत के बीच बांग्लादेश में बदस्तूर अत्याचार झेल रहे हैं हिन्दू

बांग्लादेश की सरकार हिंदुओं की सुरक्षा करने का भरोसा दे रही है लेकिन जिस तरीके से कट्टरपंथी बेखौफ होकर हिंदुओं पर हमला कर रहे हैं उसे देखकर सरकार के दावे खोखले नजर आ रहे हैं. 

Advertisement
Bangladesh violence Bangladesh violence

aajtak.in

  • नई दिल्ली,
  • 18 अक्टूबर 2021,
  • अपडेटेड 11:30 PM IST
  • अल्पसंख्यक हिंदुओं को बनाया जा रहा है निशाना
  • 66 से ज्यादा हिंदुओं के घरों को आग के हवाले कर दिया गया

बांग्लादेश में दुर्गा पूजा के दौरान शुरू हुई हिंसा थमने का नाम नहीं ले रही है. इस हिंसा में अल्पसंख्यक हिंदुओं को निशाना बनाया जा रहा है. पिछले दिनों 5 हिंदुओं की हत्या के बाद रविवार रात को उपद्रवियों ने रंगपुर के पीरगंज में 66 से ज्यादा हिंदुओं के घरों को आग हवाले कर दिया.

वहीं, बांग्लादेश की सरकार हिंदुओं की सुरक्षा करने का भरोसा दे रही है लेकिन जिस तरीके से कट्टरपंथी बेखौफ होकर हिंदुओं पर हमला कर रहे हैं उसे देखकर सरकार के दावे खोखले नजर आ रहे हैं. 

Advertisement

वैसे तत्कालीन पूर्वी पाकिस्तान और मौजूदा बांग्लादेश में हिंदुओं पर अत्याचार, हिंसा और हमले की घटनाएं पिछले 75 वर्षों से लगातार होती आ रही हैं. 1947 में आजादी के बाद लाखों हिंदू परिवार पूर्वी पाकिस्तान यानी आज के बांग्लादेश से निकलकर पश्चिम बंगाल और दूसरे राज्यों में आकर बस गए थे. इसके बाद वर्ष 1950 में बांग्लादेश में भीषण सांपद्रायिक दंगे शुरू हो गए थे.

घटती गई हिन्दुओं की आबादी

बांग्लादेश में किस तरह हिंदुओं की आबादी घटती चली गई उसे आप कुछ आंकड़ों से समझ सकते हैं. वर्ष 1951 में बांग्लादेश की कुल आबादी में हिंदुओं की संख्या करीब 22 फीसदी थी, जो बांग्लादेश बनने के बाद वर्ष 1974 में साढ़े 13 फीसदी रह गई थी. वर्ष 2011 की जनगणना के मुताबिक बांग्लादेश में हिंदुओं की आबादी 9 फीसदी से भी कम रह गई है.

Advertisement

हर साल 2 लाख हिन्दुओं का पलायन

ढाका यूनिवर्सिटी की रिपोर्ट के मुताबिक, बांग्लादेश से हर साल 2 लाख से ज्यादा हिंदुओं का पलायन हो रहा है. इसके पीछे धार्मिक कट्टरता और हिंदुओं की संपत्ति को हड़पने वाली साजिश काम कर रही है. इस साजिश के पीछे बांग्लादेश के कट्टरपंथी संगठन और सिस्टम दोनों मिलकर काम कर रहे हैं.  

हिन्दुओं की 26 लाख एकड़ जमीन पर कब्जा

1965 में तत्कालीन पाकिस्तान सरकार ने शत्रु संपत्ति अधिनियम बनाया था, जिसे बांग्लादेश में वेस्टेड प्रॉपर्टी एक्ट के नाम से जाना जाता है. इस कानून के तहत पाकिस्तान और बांग्लादेश को छोड़कर गये लोगों की संपत्ति को शत्रु संपत्ति घोषित करके उस पर कब्ज़ा कर लिया जाता हैं. 

बांग्लादेश में 1965 से 2006 के दौरान अल्पसंख्यक हिंदुओं के स्वामित्व वाली 26 लाख एकड़ भूमि पर कब्ज़ा किया जा चुका है. यानी बांग्लादेश से हिंदुओं का पलायन धार्मिक कट्टरता फैलाने के साथ-साथ भरपूर मुनाफे से भरी एक प्रॉपर्टी डील भी है. जब तक इस कानून में हिंदुओं के हितों की रक्षा नहीं की जाती और कट्टरता का सामूहिक इलाज नहीं होता तब तक ये हमले जारी रहेंगे. 

आजतक ब्यूरो

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement