योगी सरकार का बड़ा कदम... अब महिलाएं नाइट शिफ्ट में कर सकेंगी काम, सुरक्षा को लेकर गाइडलाइन जारी

महिला सशक्तिकरण को एक नई दिशा देते हुए योगी सरकार ने बड़ा फैसला लिया है. अब उत्तर प्रदेश में महिलाएं कारखानों में रात की शिफ्ट में भी काम कर सकेंगी. सरकार ने आधिकारिक अनुमति जारी करते हुए स्पष्ट किया है कि नाइट शिफ्ट में काम करने वाली महिलाओं के लिए विशेष सुरक्षा प्रावधान और आवश्यक दिशा-निर्देश लागू किए जाएंगे.

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योगी सरकार ने जारी किए दिशा-निर्देश. (File Photo: ITG) योगी सरकार ने जारी किए दिशा-निर्देश. (File Photo: ITG)

आशीष श्रीवास्तव

  • लखनऊ,
  • 05 नवंबर 2025,
  • अपडेटेड 11:11 AM IST

उत्तर प्रदेश की योगी सरकार ने महिला सशक्तिकरण की दिशा में एक महत्वपूर्ण और ऐतिहासिक फैसला लिया है. अब राज्य की महिलाएं कारखानों में रात की शिफ्ट में भी काम कर सकेंगी. श्रम विभाग द्वारा जारी अधिसूचना के तहत इस निर्णय को औपचारिक मंजूरी मिल गई है, साथ ही महिलाओं की सुरक्षा सुनिश्चित करने के लिए विस्तृत दिशा-निर्देश भी जारी किए गए हैं.

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सरकार ने कारखानों और औद्योगिक संस्थानों को अनुमति दी है कि वे महिलाओं को नाइट शिफ्ट (रात 7 बजे से सुबह 6 बजे तक) में रोजगार दे सकते हैं, लेकिन इसके लिए महिला कर्मचारियों की लिखित सहमति आवश्यक होगी. यह कदम महिलाओं को अधिक रोजगार के अवसर उपलब्ध कराने और कार्यस्थलों पर लैंगिक समानता को बढ़ावा देने के उद्देश्य से उठाया गया है.

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इस निर्णय से न केवल महिलाओं को नए रोजगार अवसर मिलेंगे, बल्कि उन्हें उद्योगों में अपनी भूमिका को मजबूती से निभाने का मौका भी मिलेगा. इससे राज्य में महिला कार्यबल की भागीदारी बढ़ेगी और औद्योगिक उत्पादन को भी गति मिलेगी. साथ ही, यह कदम समाज में महिलाओं के प्रति दृष्टिकोण में सकारात्मक बदलाव की दिशा में भी एक बड़ा प्रयास माना जा रहा है.

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सरकार का कहना है कि महिला सुरक्षा सर्वोपरि है और सभी कारखानों को निर्धारित नियमों का पालन करना होगा. नियम तोड़ने पर कानूनी कार्रवाई की जाएगी. यह निर्णय महिलाओं की आर्थिक स्वतंत्रता, आत्मनिर्भरता और सम्मानजनक कार्य माहौल की दिशा में एक बड़ा कदम माना जा रहा है.

कार्यस्थलों पर पर्याप्त रोशनी, सीसीटीवी कैमरे और सुरक्षा गार्ड की व्यवस्था होना चाहिए. इसके अलावा महिलाओं के लिए सुरक्षित परिवहन की सुविधा का ध्यान रखना चाहिए. आपातकालीन स्थितियों के लिए हेल्पलाइन नंबर, फर्स्ट एड और महिला सुरक्षा प्रकोष्ठ की व्यवस्था हो.

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