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फानी, फोनी या फनी, तूफान FANI पर कंफ्यूजन की पूरी ABCD

प्रज्ञा बाजपेयी
  • 03 मई 2019,
  • अपडेटेड 12:55 PM IST
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चक्रवात ‘फानी’ (Cyclone Fani) शुक्रवार सुबह ओडिशा के समुद्री तटों से टकरा चुका है. जब फानी तूफान 245 किमी. प्रति घंटे की रफ्तार से पुरी पहुंचा तो इसकी चपेट में पेड़-पौधे, झोपड़ियां और नाव-गाड़ियां सब आ गए. हालांकि, तूफान से मचने वाली तबाही के बीच इसके नाम को लेकर भी कंफ्यूजन बना हुआ है. कोई इसे फोनी कह रहा है तो कोई फानी, आखिर इसका सही नाम क्या है और इसका मतलब क्या है? चलिए जानते हैं.

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आपको बता दें कि इस चक्रवात का नाम बांग्लादेश के सुझाव पर 'फणि' रखा गया था और इसे वहां 'फोनि' उच्चारित किया जाता है. इसका शाब्दिक अर्थ सांप है. देश बदलने के साथ ही शब्दों का उच्चारण भी बदलता चला जाता है. अंग्रेजी में इसे Fani लिखा जा रहा है जिसकी वजह से हिंदी में इसका उच्चारण फनी या फानी प्रचलित हो गया.

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'विश्‍व मौसम विज्ञान संगठन' ने सबसे पहले चक्रवाती तूफानों के नाम रखने की पहल की थी. 2004 में भारत ने भी तूफानों का नाम रखने की परंपरा शुरू हुई. उत्तरी प्रशांत महासागर क्षेत्र में भारत के साथ-साथ श्रीलंका, पाकिस्तान, बांग्लादेश, मालदीव, म्यांमार, ओमान और थाइलैंड भी तूफानों के नामकरण पर सुझाव देते हैं. इन 8 देशों की ओर से सुझाए गए नामों के पहले अक्षर के अनुसार उनका क्रम तय किया जाता है और उसी क्रम के अनुसार इन चक्रवाती तूफानों के नाम रखे जाते हैं.

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पिछले साल तितली चक्रवाती तूफान ने आंध्र प्रदेश और ओडिशा के तटों पर कहर बरपाया था. इस चक्रवात का नाम पाकिस्तान ने दिया था. 2017 में चक्रवात ओखी ने केरल और तमिलनाडु में बहुत नुकसान किया था. यह नाम भी बांग्लादेश ने दिया था.

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इन सभी आठ देशों ने वर्ल्ड मेट्रोलॉजिकल ऑर्गनाइजेशन को भविष्य में आने वाले तूफानों के नाम को लेकर एक सूची दी थी. इसमें से बांग्लादेश के 'फोनी' नाम को चुना गया था. इसमें भारत ने 'अग्नि', 'बिजली', 'मेघ', 'सागर' और 'आकाश' जैसे नाम दिए थे.

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अगर इन आठ देशों में चक्रवाती तूफान आता है तो भेजे गए नामों में बारी-बारी एक नाम चुना जाता है. इस बार बांग्लादेश के सुझाव पर तूफान का नाम 'फोनी' रखा गया है.

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ओडिशा तट से टकराने के बाद तूफान कमजोर होते हुए उत्तर पूर्व की बढ़ते हुए पश्चिम बंगाल पहुंचेगा. तब उसकी रफ्तार अधिकतम 115 किलोमीटर प्रति घंटा रह जाएगी.

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फोनी या फणि के चार मई को भारत से निकलकर बांग्लादेश पहुंचने की संभावना है. फणि के पिछले 2 दशकों में सबसे खतरनाक चक्रवाती तूफान साबित होने की आशंका जताई जा रही है.

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