कोरोना वायरस ने सबसे ज्यादा आर्थिक चोट एविएशन सेक्टर को पहुंचाया है, इस वायरस की वजह से यात्रियों की संख्या में भारी गिरावट आई है, जिसके चलते बजट एयर लाइन कंपनी इंडिगो ने अपने कर्मचारियों की सैलरी में कटौती करने की घोषणा की है.
दरअसल, कोरोना वायरस की वजह से यात्रियों की संख्या में कमी आने से इंडिगो एयरलाइंस को अपने 16 प्लेन को सेवा से हटाना पड़ा है. इसके अलावा इस आर्थिक संकट से उबरने के लिए कर्मचारियों की सैलरी में 10-20 फीसदी तक कटौती का फैसला लिया गया है.
कोरोना की वजह से बदहाल विमानन कंपनियां
इंडिगो के CEO रोनोजॉय दत्ता खुद अपनी सैलरी में 25 फीसदी की कटौती करेंगे. वहीं सीनियर वाइस प्रेसीडेंट अपनी सैलरी में 20 फीसदी की कटौती करेंगे, जबकि कॉकपिट क्रू की सैलरी में 15 फीसदी की कटौती होगी.
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CEO ने अपने बयान में कहा है कि बड़े अफसोस की बात है कि 1 अप्रैल 2020 से बैंड्स-ए और बैंड्स-बी के कर्मचारियों को छोड़कर सभी कर्मचारियों की सैलरी मे कटौती होगी. बैंड-ए और बैंड-बी में सबसे कम सैलरी वाले कर्मचारी होते हैं. उन्होंने कहा कि एयर लाइन इंडस्ट्री के अस्तित्व अब दांव पर लग गया है, इसलिए अब यह कदम उठाना पड़ रहा है.
एयरलाइंस के मुताबिक डोमेस्टिक सेवा में यात्रियों की संख्या घटकर आधी रह गई है, जबकि अंतरराष्ट्रीय उड़ानें और ज्यादा प्रभावित हुई हैं.
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सरकार से अब राहत की उम्मीद
इंडियो एयरलाइंस के साथ-साथ स्पाइसजेट का भी बुरा हाल है, एयरलाइंस का कहना है कि उन देशों की सेवाएं सबसे ज्यादा बाधित हुई हैं, जहां कोरोना के मामले ज्यादा हैं. इनमें इरान, इटली और ब्रिटेन शामिल हैं. विमानन सेक्टर अब सरकार से राहत की मांग कर रहा है, और हो सकता है कि जल्द ही एविएशन सेक्टर के लिए रेस्क्यू पैकेज का ऐलान किया जाए.
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