1972 बैच के IAS ऑफिसर रहे विनोद राय ने अपनी एक नई किताब लॉन्च की है. विनोद राय करीब ढाई साल तक भारतीय क्रिकेट कंट्रोल बोर्ड (BCCI) में भी रहे हैं. उन्होंने अपनी यह नई बुक पूरी तरह से अपने जीवन की इसी पारी पर आधारित रखी है. इसका नाम भी उन्होंने ऐसा ही दिया है.
विनोद राय की नई किताब का नाम- 'नॉट जस्ट ए नाइटवॉचमैन: माय इनिंग्स इन द बीसीसीआई' रखा है. पूर्व आईएएस ऑफिसर ने बताया है कि वह बीसीसीआई में करीब 33 महीने तक प्रशासकों की समिति (CoA) के प्रमुख रहे हैं. विनोद को इस पद पर सुप्रीम कोर्ट ने 30 जनवरी 2017 को नियुक्त किया था.
बीसीसीआई में 33 महीने तक पद पर रहे विनोद राय
विनोद राय ने कहा कि सुप्रीम कोर्ट द्वारा मुझे इस पद के लिए चुना जाना बड़े सम्मान की बात थी. मैं बीसीसीआई में अपनी भूमिका को सिर्फ नाइटवॉचमैन के रूप में देखता हूं. विनोद को यह नहीं पता था कि वे इस क्रीज पर 33 महीने तक टिक पाएंगे. दुनिया के सबसे अमीर क्रिकेट बोर्ड में विनोद ने इतने अहम पद की जिम्मेदारी संभाली.
इस बोर्ड में उन्हें कई कमियां नजर आईं और उन्होंने इससे अनदेखा नहीं किया. यही वजह भी रही कि इस नाइटवॉचमैन ने फ्रंटफुट पर आकर खेलना शुरू किया. इन्हीं सब बातों को विनोद की नई किताब में शामिल किया गया है.
विनोद राय को पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था
विनोद राय 1972 की बैच के IAS ऑफिसर रहे हैं. उन्हें 2008 में भारत के 11वां ऑडिटर जनरल ऑफ इंडिया (CAG) बनाया गया था. इसके बाद उन्होंने मई 2013 में यह पद छोड़ दिया था. इसके बाद 2016 में विनोद को बैंक्स बोर्ड ब्यूरो (BBB) का पहला चैयरमैन बनाया गया था. इससे पहले भी उन्होंने कई बुक लिखी हैं. देश के लिए उनकी सेवाओं को ध्यान में रखते हुए विनोद राय को 2016 में पद्म भूषण से सम्मानित किया गया था. पूर्व कैग विनोद राय संयुक्त राष्ट्र में भी अपनी सेवाएं दे चुके हैं.
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