सुप्रीम कोर्ट ने भारतीय तेज गेंदबाज मोहम्मद शमी की पत्नी हसीन जहां की गुजारा भत्ता बढ़ाने की मांग वाली याचिका पर नोटिस जारी किया है. अदालत ने इस पर चार हफ्ते के भीतर जवाब मांगा है और अगली सुनवाई चार हफ्ते बाद निर्धारित की गई है.
हसीन जहां ने कलकत्ता हाईकोर्ट के उस फैसले को सुप्रीम कोर्ट में चुनौती दी है, जिसमें उन्हें मासिक डेढ़ लाख रुपये और उनकी बेटी के लिए ढाई लाख रुपये गुजारा भत्ता दिए जाने का आदेश दिया गया था. उनके अनुसार यह रकम पर्याप्त नहीं है और वे मिलने वाले गुजारा भत्ते में बढ़ोतरी की मांग कर रही हैं. सुप्रीम कोर्ट ने याचिका पर पश्चिम बंगाल सरकार और क्रिकेटर मोहम्मद शमी को नोटिस जारी किया है.
मोहम्मद शमी और हसीन जहां की शादी 2014 में हुई थी. 2018 में हसीन जहां ने शमी पर घरेलू हिंसा के आरोप लगाते हुए उनसे अलग होने का ऐलान किया था. दोनों की एक बेटी है.
इससे पहले, जुलाई में हसीन जहां ने शमी पर उन्हें बदनाम करने व उनके खिलाफ अपराधियों को हायर करने का आरोप लगाया था. एक इंस्टाग्राम पोस्ट में उन्होंने शमी के लिए तीखे शब्दों का इस्तेमाल किया था.
पोस्ट में हसीन जहां ने लिखा था कि वह पिछले सात साल से कानूनी लड़ाई लड़ रही हैं और अब अपने अधिकार पाने के लिए कानून का सहारा लेंगी. उन्होंने कहा कि पुरुष प्रधान समाज का फायदा उठाकर उनके साथ गलत हुआ, लेकिन अब वह कानून के जरिए अपनी जिंदगी बेहतर बनाना चाहती हैं. हसीन का कहना था कि जिन्होंने उनके साथ अन्याय किया, वही लोग आगे चलकर शमी के बुरे वक्त में नुकसान पहुंचा सकते हैं.
संजय शर्मा