ना अब धोखा शेयर होगा, ना दुश्मन की नापाक निगाहें जूम होंगी और ना ही गुस्ताखी भरी कोई टॉक होगी. कैम स्कैनर में भी चीन की धोखेबाजी का कोई रिकार्ड अब सेव नहीं हो पाएगा. क्योंकि मसला अब गलवान घाटी या भारत-चीन बार्डर या बॉर्डर पर तैनात सैनिकों तक ही नहीं रह गया है. बल्कि भारत-चीन के बीच लड़ाई अब आर्थिक मोर्चे तक जा पहुंची है. और इस लड़ाई की शुरूआत हुई है टिकटॉक, शेयर इट और कैम स्कैनर जैसे 59 चीनी एप पर भारत में पांबदी लगाकर.