ओमिक्रॉन से तीसरी लहर का खतरा कोरोना के मामलों के साथ ही बढ़ता जा रहा है. इससे बड़ी टेंशन ये है कि तीसरी लहर भी तभी आने का अनुमान है जब पांच राज्यों में चुनाव होने हैं. उससे पहले तमाम राज्य सरकारों ने नाइट कर्फ्यू से लेकर न्यू-ईयर तक की पार्टी में भीड़ पर पाबंदी लगा दी है. लेकिन कोरोना की तीसरी लहर के खतरे के बीच भी चुनावी रैली पर कोई रोक नहीं है. इलाहाबाद हाईकोर्ट को तो प्रधानमंत्री मोदी और चुनाव आयोग से अनुरोध करना पड़ा है कि वो यूपी चुनाव के प्रचार में राजनीतिक पार्टियों की तरफ से भीड़ इकट्ठा कर चुनावी रैलियों पर रोक लगाएं. पार्टियों पर प्रतिबंध और चुनावी रैलियों में भीड़ देखकर ये सवाल जरूर उठता है कि क्या कोरोना सिर्फ भीड़ भरे बाजारों में अटैक करता है और चुनाव कार्यक्रमों से डरता है? देखें खबरदार.
The Allahabad High Court has requested the Election Commission to postpone the upcoming Uttar Pradesh assembly elections by a month or two. It also requested Prime Minister Narendra Modi to ban election-related gatherings in the state and think about postponing state elections over fears of the highly contagious Covid variant Omicron.