अपोलो अस्पताल में जयललिता की हर वक्त देखभाल करने वाली 3 नर्सों ने उन्हें 'किंग-कॉग' नाम दिया था. अस्पताल की नर्स सीवी शीला ने दिवंगत जयललिता को याद करते हुए बताया कि जब हम उनके आस-पास होते थे तो वह हमें देखकर मुस्कुराती थीं और कभी-कभी बातचीत करती थीं.
उन्होंने ये भी बताया कि जब हम उनके साथ रहते थे तो वह कुछ न कुछ खाने की कोशिश भी करती थीं. नर्स शीला के मुताबिक उनके आहार में उनका पसंददीदा उपमा, कर्ड राइस और पोटेटो करी शामिल होता था. वह सभी नर्सों के लिए एक-एक चम्मच कुछ खा लेती थीं. 16 नर्सों की टीम जयललिता की दिनभर देखभाल करती थी. उनमें शीला, एमवी रेनुका और समुंदेश्वरी दिवंगत जयललिता की पसंदीदा नर्सें थीं.
'द टाइम्स ऑफ इंडिया' की खबर के मुताबिक अपोलो अस्पताल में श्रद्धांजलि सभा के बाद डॉक्टर, नर्स और हॉस्पिटल स्टाफ ने जयललिता से जुड़े अपने अनुभव बताए. अस्पताल के डॉक्टरों के मुताबिक जयललिता कभी-कभी मजाक करती थीं. उन्होंने मेडिकल स्टॉफ को चाय का न्योता दिया था. अस्पताल में 75 दिनों में वह कभी-कभी परेशान भी नजर आती थीं.
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22 सितंबर को जयललिता को अस्पताल में भर्ती कराया गया था. डॉक्टर के अनुसार 4 घंटे के बाद जब उनकी हालत सुधरी और वह नींद से जागीं तो उन्होंने सैंडविच और कॉफी की मांग की थी. जयललिता का इलाज करने वाली टीम के डॉक्टर सेंथिल कुमार ने बताया कि जब जयललिता थकी हुई नहीं रहती थीं तो वह ड्यूटी पर मौजूद डॉक्टरों से बातचीत करती थीं. डॉक्टर ने बताया कि वह स्कीन कैयर से जुड़े टिप्स देती थीं और कई बार हेयर स्टाइल चेंज करने का ऑर्डर भी देती थीं. अपोलो अस्पताल के डॉक्टरों ने बताया कि उन्हें हॉस्पिटल की कॉफी पसंद नहीं थी. अपोलो अस्पताल के डॉक्टर रमेश वेंकटरमण ने बताया कि एक बार उन्होंने कहा था कि घर चलते हैं. मैं आप सबको कोडाइनाडु की सबसे अच्छी चाय पिलाऊंगी.
सना जैदी