मध्य प्रदेश के देवास में इंटरनेशनल जु जित्सु खिलाड़ी रोहिणी कलम ने रविवार को अपने घर में फांसी लगाकर आत्महत्या कर ली. उनकी छोटी बहन रोशनी कलम ने कमरे में उनके शव को फांसी के फंदे पर लटका देखा. उन्हें तत्काल अस्पताल ले जाया गया, जहां चिकित्सकों जु जित्सु खिलाड़ी को मृत घोषित कर दिया. पुलिस ने मामला दर्ज कर अज्ञात कारणों से आत्महत्या की जांच शुरू कर दी है.
पुलिस ने बताया कि रविवार को रोहिणी कलम के अर्जुन नगर, राधागंज स्थित अपने घर में आत्महत्या करने की सूचना मिली थी. परिवार ने पुलिस को बताया कि आत्महत्या की घटना के वक्त रोहिणी के परिवार के सदस्य घर पर नहीं थे. उनकी मां अपनी एक अन्य बेटी के साथ देव दर्शन के लिए बाहर गई हुई थीं, जबकि पिता भी किसी काम से घर से बाहर थे. घटनास्थल से फिलहाल कोई सुसाइड नोट बरामद नहीं हुआ है और आत्महत्या के सटीक कारणों का पता नहीं चल पाया है.
स्कूल की परेशानी का जिक्र
रोहिणी की छोटी बहन रोशनी ने पुलिस को दिए बयान में कुछ परेशानियों का जिक्र किया है. रोशनी ने बताया कि रोहिणी आष्टा के एक निजी स्कूल में मार्शल आर्ट कोच के पद पर काम कर रही थीं और स्कूल की ओर से वह कुछ परेशान चल रही थीं.
परिवार ने बताया कि रोहिणी शनिवार को ही देवास स्थित अपने घर आई थीं. सुबह उन्होंने सामान्य रूप से चाय-नाश्ता किया था और किसी से फोन पर बात भी की थी.
नाश्ते के बाद रोहिणी अपने कमरे में चली गईं और अंदर से दरवाजा बंद कर लिया. कुछ देर बाद जब रोशनी ने कमरे का दरवाजा खोलने की कोशिश की और कोई जवाब नहीं मिला तो उन्हें शक हुआ. दरवाजा तोड़ने पर उन्होंने अपनी बहन को फांसी के फंदे पर लटका हुआ देखा. पुलिस ने अज्ञात कारणों से आत्महत्या का मामला दर्ज कर लिया है और मामले की जांच शुरू कर दी है.
रोहिणी कलम ने रोशन किया देश का नाम
आपको बता दें कि रोहिणी कलम ने हांगझोऊ में हुए 19वें एशियाई खेलों में भारत का प्रतिनिधित्व किया था. वह बर्मिंघम में आयोजित विश्व खेलों के लिए चुनी जाने वाली एकमात्र भारतीय खिलाड़ी थीं. उन्होंने एशियाई जुजुत्सु चैंपियनशिप में भारत के लिए कई पदक जीते थे.
उन्होंने 2022 में बैंकॉक में आयोजित थाईलैंड ओपन ग्रैंड प्रिक्स में 48 किलोग्राम वर्ग में कांस्य पदक हासिल किया था. इसके अलावा 2024 में अबू धाबी में हुई 8वीं एशियाई जुजुत्सु चैंपियनशिप में भी उन्होंने युगल क्लासिक स्पर्धा में कांस्य पदक जीता था. वह सऊदी अरब में हुए कॉम्बैट गेम्स के लिए भी क्वालीफाई कर चुकी थीं. रोहिणी ने 2007 में अपने खेल जीवन की शुरुआत की थी और 2015 से पेशेवर रूप से जुजुत्सु में भाग लिया था.
शकील खान