MP: गांव में 3 दिन डेरा जमाकर बैठी रही बाघिन, हाथियों के सहारे भगाया गया

इस मामले की जानकारी पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन को दी गई. बाघिन की जानकारी लगते ही पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन ने मौके पर गश्ती दल लगाया. जंगल से निकलकर विक्रमपुर के एक खेत में जमी बैठी इस बाघिन को जंगल की ओर खदेड़ने की लिए पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन ने दो हाथियों को भी लगाया.

Advertisement
MP news (प्रतीकात्मक फोटो) MP news (प्रतीकात्मक फोटो)

दिलीप शर्मा (दीपक)

  • पन्ना,
  • 07 जून 2021,
  • अपडेटेड 10:50 PM IST
  • प्रबंधन इस क्षेत्र में फेंसिंग की योजना बना रहा है
  • बाघिन को हाथियों के सहारे जंगल की ओर भगा दिया गया

मध्य प्रदेश में पन्ना टाइगर रिजर्व सीमा के समीप ग्राम विक्रमपुर में एक बाघिन ने तीन दिन तक ऐसा डेरा जमाया कि हर कोई खौफजदा हो गया. बाघिन गांव के पास के खेतों में लगी झाड़ियों में छुपी बैठी रही. इसकी वजह से विक्रमपुर गांव में तीन दिन दहशत का माहौल रहा, किसान खेतों में भी नहीं जा पाए.

इस मामले की जानकारी पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन को दी गई. बाघिन की जानकारी लगते ही पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन ने मौके पर गश्ती दल लगाया. जंगल से निकलकर विक्रमपुर के एक खेत में जमी बैठी इस बाघिन को जंगल की ओर खदेड़ने की लिए पन्ना टाइगर रिजर्व प्रबंधन ने दो हाथियों को भी लगाया.

Advertisement

इसके बाद, पन्ना टाइगर रिजर्व का टाइगर गश्ती दल, हाथी और जनता के भारी शोर मचाने के बाद बाघिन उठकर जंगल की ओर चली गई. इस घटना का वीडियो किसी ग्रामीण ने अपने मोबाइल में कैद कर लिया और वायरल कर दिया. इस वीडियो में बाघिन को हाथियों के सहारे गांव से दूर भगाया जा रहा है और बाघिन खेतों से जंगल की ओर दौड़ लगाते दिख रही है.

इस संबंध में पन्ना टाइगर रिजर्व के क्षेत्र संचालक उत्तम कुमार शर्मा ने जानकारी देते हुए बताया कि यह बाघिन ढाई वर्ष की वयस्क बाघिन है लेकिन इसने अभी तक शावकों को जन्म नहीं दिया है. वह कभी-कभी जंगल से निकलकर रिहायसी इलाके की ओर आ जाती है. इसको हाथियों के सहारे फिलहाल जंगल की ओर भगा दिया गया है. बताया जा रहा है कि वह इसी एरिया में पली बड़ी है इसलिए वह कभी-कभी आ जाती है. 

Advertisement

प्रबंधन इस क्षेत्र में फेंसिंग की योजना बना रहा है ताकि वन्य प्राणी रिहायशी इलाके की तरफ न आ सकें. इसके लिए कार्य प्रारंभ कर दिया गया है. उन्होंने बताया कि पन्ना में बाघों की संख्या लगातार बढ़ रही है और जंगल का दायरा सीमित है.

कभी-कभी ऐसे में भी बाघ जंगल से बाहर निकल आते हैं. फिलहाल ग्रामीणों को नुकसान न पहुंचे इसके लिए टाइगर रिजर्व के बाघ गश्ती दल को लगा दिया है. इसको सैटेलाइट कॉलर पहले ही पहनाया गया है जिसके माध्यम से हम इसकी लोकेशन को ट्रेस करते रहते हैं.

ये भी पढ़ें

 

Read more!
Advertisement

RECOMMENDED

Advertisement