दक्षिण कश्मीर हिमालय में 3,880 मीटर ऊंचे अमरनाथ गुफा मंदिर में तीर्थयात्रियों की ओर से किए जाने वाले दान में महामारी के कारण लगे प्रतिबंधों के हटने के बाद 100 गुना बढ़ोतरी हुई है. आधिकारिक आंकड़ों के अनुसार, 2020-21 में 9.23 लाख रुपये के दान 2025-26 में बढ़कर 9.75 करोड़ रुपये तक पहुंच गए.
श्री अमरनाथ जी श्राइन बोर्ड (SASB) से यह जानकारी जम्मू के एक्टिविस्ट रमण कुमार शर्मा की ओर से सूचना के अधिकार (RTI) के तहत मांगी गई थी. आंकड़ों के मुताबिक, नकद दान 2022-23 में 9.14 करोड़, 2023-24 में 11.16 करोड़ और 2024-25 में 11.59 करोड़ रुपये दर्ज किए गए.
इस साल यात्रा में शामिल हुए 4.1 लाख श्रद्धालु
कोविड प्रतिबंध हटने के बाद यात्रियों की संख्या भी बढ़ी. 2022 में यात्रा में 3 लाख से अधिक श्रद्धालु शामिल हुए, जबकि 2023 में यह संख्या 4.5 लाख, 2024 में 5.1 लाख और 2025 में 4.1 लाख रही. 2025 की यात्रा 3 जुलाई से शुरू हुई थी, लेकिन बारिश से रास्ते खराब होने के कारण निर्धारित समापन से एक हफ्ता पहले बंद कर दी गई.
रजिस्ट्रेशन फीस में भी भारी बढ़ोतरी
तीर्थयात्रियों से पंजीकरण शुल्क भी बढ़ा. 2020-21 और 2021-22 में यह केवल 0.12 लाख रुपये था, जबकि 2022-23 में 4 करोड़, 2023-24 में 5.56 करोड़, 2024-25 में 5.35 करोड़ और 2025-26 में 7.71 करोड़ रुपये रहा. अमरनाथ यात्रा पारंपरिक 48 किलोमीटर लंबे पहलगाम मार्ग और 14 किलोमीटर छोटे लेकिन अधिक कठिन बाल्टल मार्ग से होती है.
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