हिमाचल प्रदेश में राज्यसभा चुनाव के बाद सुक्खू सरकार पर संकट गहरा हुआ है. एक ओर कांग्रेस के छह विधायकों ने पार्टी से बगावत कर दी है, वहीं दूसरी ओर पूर्व सीएम वीरभद्र सिंह के बेटे विक्रमादित्य ने भी सुक्खू सरकार से इस्तीफा दे दिया है. मंत्री पद से इस्तीफे का ऐलान करते हुए विक्रमादित्य अपने पिता को याद कर भावुक हो गए और उन्होंने अपने पिता की तुलना आखिरी मुगल बादशाह बहादुर शाह जफर से की है, जिन्हें अपने देश में दफनाने के लिए दो गज जमीन नहीं मिली थी और उनकी कब्र पड़ोसी देश म्यांमार में है.
विक्रमादित्य प्रेस कॉन्फ्रेंस के दौरान अपने पिता को याद कर भावुक हो गए. उन्होंने पिता की तुलना आखिरी मुगल सम्राट बहादुर शाह जफर से की. उन्होंने कहा कि पूरा चुनाव वीरभद्र सिंह के नाम पर हुआ. भारी मन के साथ कहना पड़ रहा है कि जिस व्यक्ति की वजह से हिमाचल में कांग्रेस की सरकार बनी, उनकी मूर्ति लगाने के लिए शिमला के मॉल रोड पर 2 गज जमीन नहीं दी. ये बहुत ही दुर्भाग्यपूर्ण है.
उन्होंने कहा कि 2022 के चुनाव जिन परिस्थितियों में हुए थे, उस समय नेता प्रतिपक्ष मुकेश अग्निहोत्री और प्रतिभा सिंह ने मिलकर प्रयास किए. वीरभद्र सिंह का नाम तब चुनावों में इस्तेमाल किया गया. कांग्रेस पार्टी की तरफ से विज्ञापन के जरिए वीरभद्र की फोटो के जरिए जनता से वोट मांगे गए. मैंने कभी पद की लालसा नहीं की.
वहीं राज्यसभा चुनाव के दौरान क्रॉस वोटिंग को लेकर विक्रमादित्य ने दुर्भाग्यपूर्ण बताया है. उन्होंने कहा कि विधायकों के साथ अनदेखी हुई है. विधायकों को प्रताड़ित किया गया. सरकार की गवर्नेन्स हमारे सामने है. बार-बार इन मसलों को हाईकमान के समक्ष उठाया गया. सरकार को बनाने में हमने बहुत ही महत्वपूर्ण योगदान दिया है.
इन सबके बीच सुक्खू सरकार में मंत्री विक्रमादित्य सिंह ने अपने पद से इस्तीफा दे दिया है. उन्होंने कहा कि इसको लेकर मैंने प्रियंका गांधी और मल्लिकार्जुन खड़गे को इस बारे में बता दिया है. उन्होंने कहा कि कभी-कभी कठोर निर्णय लेने पड़ते हैं और वर्तमान हालात को देखते हुए मैं इस सरकार में नहीं रह सकता हूं. जितना हमसे हो सका हमने सरकार का पूरी मजबूती से काम किया और समर्थन किया. दुख के साथ कहना पड़ रहा है कि मुझे ह्यूमिलेट किया गया है. मेरे विभाग के कामकाज में हस्तक्षेप किया गया. मैं उनमें से नहीं हूं कि किसी भी दबाव में आए. हमेशा की तरह आज भी सही का समर्थन और गलत का विरोध करेंगे. पूरे घटनाक्रम को लेकर हाईकमान से बात की है.
मनजीत सहगल / कमलजीत संधू