गुजरात चुनाव एक दम करीब हैं. 22 साल से राज्य की सत्ता पर काबिज भारतीय जनता पार्टी को इस बार अपनी ताकत खिसकने का डर है. नोटबंदी और जीएसटी के कारण राज्य का व्यापारी वर्ग मोदी सरकार से नाराज हैं. लेकिन पार्टी कार्यकर्ताओं को विश्वास है कि केंद्र सरकार गुजरात में वोटिंग से पहले जीएसटी के टैक्स सिस्टम में थोड़ा बदलाव करेगी और उसे आसान बनाएगी. जिससे वोटिंग के दौरान वोटरों का गुस्सा सरकार पर ना उतरे.
विशेषज्ञों का भी मानना है कि जीएसटी लागू होने से राज्य में छोटे कारोबारियों को काफी परेशानी हुई है. एक बड़े बीजेपी नेता ने मेल टुडे से बात करते हुए कहा कि हां, हम जानते हैं कि लोगों को काफी मुश्किलों का सामना करना पड़ रहा है. उन्होंने कहा कि पार्टी यह समझ रही है विधानसभा चुनाव में जीएसटी एक बड़ा मुद्दा बन गया है.
लेकिन, बीजेपी नेता ने ये भी कहा कि प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी और बीजेपी अध्यक्ष अमित शाह से बेहतर गुजराती व्यापारियों को कोई नहीं जानता है. उन्होंने कहा कि जीएसटी में कुछ अर्जेंट सुधार किए गए हैं, इससे कांग्रेस इसे चुनावी मुद्दा नहीं बना पाएगी.
नेता ने कहा कि लोगों को कांग्रेस सरकार के दौरान का इंस्पेक्टर राज याद है. केंद्र सरकार ने जीएसटी में जो बदलाव किए हैं, वो वोटों के लिए नहीं बल्कि लोगों की परेशानी दूर करने के लिए किए हैं. जब उनसे पूछा गया कि जीएसटी में और भी बदलाव करने के लिए क्या पार्टी मोदी सरकार पर दबाव बनाएगी. तो उन्होंने कहा कि वह इस मुद्दे पर मीडिया में बात नहीं कर सकते हैं.
गौरतलब है कि गुजरात में 9 और 14 दिसंबर को वोट डाले जाने हैं. इससे पहले कांग्रेस ने जीएसटी को एक बड़ा मुद्दा बनाया है. जीएसटी लागू होने के विरोध में सूरत में कई व्यापारी सड़कों पर उतरे थे, कांग्रेस इसी बात का फायदा उठाना चाहती है.
मोहित ग्रोवर