दिल्ली शराब नीति: CBI ने पूछताछ के लिए भेजा समन, मनीष सिसोदिया बोले- सत्यमेव जयते!

एक्साइज पॉलिसी केस में मनीष सिसोदिया पर दो प्रमुख आरोप हैं. पहला आरोप ये है कि जब आबकारी विभाग ने Liquor Shops के लिए लाइसेंस जारी किए तो इस दौरान मनीष सिसोदिया द्वारा कुल प्राइवेट वेंडर्स को 144 करोड़ 36 लाख रुपये का फायदा पहुंचाया गया, क्योंकि इस दौरान इतने रुपये की लाइसेंस फी माफ कर दी.

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दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया दिल्ली के उपमुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया

अरविंद ओझा

  • नई दिल्ली,
  • 16 अक्टूबर 2022,
  • अपडेटेड 1:51 PM IST

दिल्ली के उप मुख्यमंत्री मनीष सिसोदिया को एक्साइज पॉलिसी केस में सीबीआई ने समन किया है. उन्हें सोमवार को दोपहर 11 बजे सीबीआई ने पूछताछ के लिए बुलाया है. दिल्ली शराब नीति मामले में प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने हाल ही में पहली गिरफ्तारी की थी. ईडी ने मनीष सिसोदिया के करीबी समीर महेंद्रू को गिरफ्तार किया था.

समन मिलने के बाद सिसोदिया ने एक ट्वीट किया, उन्होंने लिखा- 'मेरे घर पर 14 घंटे CBI रेड कराई, कुछ नहीं निकला. मेरा बैंक लॉकर तलाशा, उसमें कुछ नहीं निकला. मेरे गांव में इन्हें कुछ नहीं मिला. अब इन्होंने कल 11 बजे मुझे CBI मुख्यालय बुलाया है. मैं जाऊंगा और पूरा सहयोग करूंगा. सत्यमेव जयते.'

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दिल्ली एक्साइज पॉलिसी केस को लेकर सीबीआई द्वारा दर्ज की गई FIR में मनीष सिसोदिया का नाम सबसे ऊपर है. बाकी आरोपियों के नाम नीचे आ रहे हैं. ऐसे में तय है कि जांच के केंद्र में मनीष सिसोदिया ही रहने वाले हैं. इस मामले में जांच एजेंसी ने सिसोदिया के अलावा 14 और लोगों को आरोपी बनाया है. 

सिसोदिया पर हैं ये बड़े आरोप 

इस पूरे मामले में मनीष सिसोदिया पर दो प्रमुख आरोप हैं. पहला आरोप ये है कि जब Excise Department ने Liquor Shops के लिए लाइसेंस जारी किए तो इस दौरान मनीष सिसोदिया द्वारा कुल Private Vendors को 144 करोड़ 36 लाख रुपये का फायदा पहुंचाया गया क्योंकि इस दौरान इतने रुपये की License Fee माफ कर दी. जिससे सरकार को भारी नुकसान हुआ.

इसके अलावा मनीष सिसोदिया पर ये भी आरोप है कि उन्होंने कैबिनेट को भरोसे में लिए बिना और उप-राज्यपाल के बिना फाइनल अप्रूवल के कई बड़े फैसले लिए.

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