Chhattisgarh Panchayat AajTak: भूपेश बघेल के साथ कैसे हैं रिश्ते? टीएस सिंहदेव ने बताया

छत्तीसगढ़ के डिप्टी सीएम ने बताया कि उनके सीएम भूपेश बघेल के साथ कैसे रिश्ते हैं. उन्होंने कहा कि समाज की बेसिक ईकाई परिवार होती है और परिवार में झगड़े होते हैं. राजनीतिक दल में जब ये होता है तो हाईलाइट हो जाता है. टीएस सिंहदेव ने कहा कि उनके रिश्ते सीएम बघेल के साथ अच्छे हैं.

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छत्तीसगढ़ पंचायत आजतक के मंच पर टीएस सिंहदेव छत्तीसगढ़ पंचायत आजतक के मंच पर टीएस सिंहदेव

aajtak.in

  • रायपुर,
  • 04 अक्टूबर 2023,
  • अपडेटेड 7:15 PM IST

छत्तीसगढ़ के डिप्टी सीएम टीएस सिंहदेव ने पंचायत आजतक कार्यक्रम में बताया कि उनके मुख्यमंत्री भूपेश बघेल के साथ अब कैसे रिश्ते हैं. इसके अलावा उन्होंने धर्मांतरण, भ्रष्टाचार, एजेंसियों की रेड, धर्मनिरपेक्षता समेत कई मुद्दों पर बात की. इस दौरान उन्होंने कहा कि अगर लोग पीएम मोदी के फेस पर ही वोट करते तो फिर बंगाल, महाराष्ट्र, कर्नाटक, हिमाचल में भी बीजेपी की जीत होती.  

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उन्होंने कहा कि केंद्र और राज्य के चुनाव में मुद्दे अलग-अलग होते हैं. अगर ऐसा नहीं होता तो जहां-जहां प्रधानमंत्री मोदी का चेहरा आगे कर बीजेपी ने चुनाव लड़ा तो उन राज्यों में भी बीजेपी जीत जाती.  

बाबा के भूपेश बघेल के साथ कैसे हैं रिश्ते?

वहीं मुख्यमंत्री के साथ रिश्ते कैसे हैं, इस पर टीएस सिंहदेव ने कहा कि झगड़ा किस घर में नहीं होता है. समाज की बेसिक ईकाई होता है परिवार, उसमें भी झगड़ा होता है. ये मानव स्वभाव है. राजनीति में अगर ये हो जाता है तो हाई लाइट हो जाता है. 

उन्होंने बताया कि भूपेल बघेल के साथ रिश्ते अच्छे हैं. काम करने में दिक्कत नहीं होती. विभाग में काम करने को मिल रहा है या नहीं. त्जहां महसूस होता है तो मैं छोड़ भी देता हूं. पंचायत विभाग में मैं काम नहीं कर पा रहा था, तो मैंने छोड़ दिया. जहां काम कर सकता हूं तो वहां करता हूं. स्वास्थ्य, जीएसटी, बिजली के विभाग में कोई दिक्कत नहीं है.  

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धर्मांतरण पर क्या बोले बाबा?

जब उनसे पूछा गया कि धर्मांतरण के मुद्दे पर कांग्रेस को घेरा जा रहा है तो उन्होंने कहा, "इसकी कोई बात नहीं है. मैं ऐसा क्षेत्र से आता हूं जहां पहले की तुलना में ईसाई समाज के लोग कुछ संख्या में दिखते हैं. बात धर्मांतरण की नहीं सुनने में आ रही, बात सुनने में ये आ रही है खासकर बस्तर इलाके में कि कुछ राजनीतिक दल के लोग, जिनकी एक विशेष विचारधारा है, वो ईसाई के समाज के लोग मुर्दे दफनाने नहीं दे रहे हैं. हमने हिंदू-मुस्लिम सुना, ये हिंदू-क्रिश्चियन, ट्राइबल क्रिश्चियन एक सिलसिलेवार वाकया दो-तीन साल से चल रहा है. वो एक मुद्दा है. जिसमें अल्पसंख्यक समुदाय को लग रहा है कि हमारे ऊपर गलत तरीके से दबाव बनाया जा रहा है." 

बाबा ने कहा, "सरकार ने इस पर कह दिया है कि कोई भी गलत काम करे, उस पर कार्रवाई करिए. सामुदायिक ग्राउंड हो तो अलग बात है, लेकिन ये प्राइवेट जमीन में भी नहीं दफनाने दे रहे हैं."  

केंद्रीय एजेंसियों की कार्रवाई पर क्या कहा? 

ईडी, इनकम टैक्स, सीबीआई की कार्रवाई पर उन्होंने कहा कि ये टारगेटेड क्यों होती हैं. ये केवल गैर बीजेपी शासित राज्यों में या उनसे जुड़े लोगों पर ही होती है. अगर आप गैर बीजेपी के हिस्सा हैं तो कार्रवाई आप पर शुरू हो गई और अगर आपने दल बदल लिया तो कार्रवाई रुक जाएगी. बंगाल, महाराष्ट्र में जो भी हुआ वो गलत है. आप निष्पक्ष कार्रवाई करिए.  

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भ्रष्टाचार के आरोपों पर डिप्टी सीएम ने क्या कहा?

वहीं बीजेपी द्वारा लगाए जा रहे करप्शन के आरोपों पर डिप्टी सीएम ने कहा, उन्हें अपने घरों में देखना चाहिए. उन्होंने कहा, कहीं भी कुछ भी नहीं होता है, पूरा समाज साफ-सुथरा है. कहीं कुछ लेन-देन होता ही नहीं है. ऐसा नहीं है, कुछ न कुछ होता होगा, जिसको हमने शिष्टाचार बना दिया है. उन बातों को छोड़ दिया जाए तो गलत कोई करते हुए जांच के दायरे में आता है तो बिलकुल कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए. अगर जिम्मेदार जगहों पर हैं, अधिकारी, जनप्रतिनिधि हैं तो कड़ी से कड़ी कार्रवाई होनी चाहिए. ये दुनिया एक तरीके चल रही है. हम सब जानते हैं कुछ-कुछ होता है. 

टीएस सिंहदेव ने कहा, कांग्रेस के कई सीनियर नेताओं ने पिछले चुनाव में मेहनत की थी, जिसकी वजह से हम सरकार में आए. इस बार हम परफॉर्मेंस के आधार पर लड़ रहे हैं, लेकिन पिछली बार हम रमन सिंह सरकार की नीतियों के खिलाफ लड़ रहे थे. 

उन्होंने कहा, कांग्रेस पार्टी के मेनिफेस्टो में 281 बिंदु थे, इनमें 36 बड़े लक्ष्य थे, 24 को पूरा कर लिया है. 12 में कुछ हुआ है कुछ नहीं हुआ है. इसमें शराबबंदी नहीं हो पाई, जोकि बड़ा टारगेट है. छह-सात बातें हैं, जिन्हें हम नहीं कर पाए हैं.  

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पीएम मोदी के दावों पर बोले टीएस सिंहदेव

वहीं पीएम मोदी के दावे पर उन्होंने कहा कि छत्तीसगढ़ सरकार खुद किसानों का धान एमएसपी पर खरीद रही है. केंद्र की अगर नीति होती तो सभी राज्य खरीद रहे होते. क्या यूपी में एमएसपी पर धान खरीदा जाता है. पांच राज्यों में चुनाव है- पीएम ने तेलंगाना, मेघालय, एमपी, राजस्थान में धान खरीदने की बात नहीं की. सिर्फ छत्तीसगढ़ में की क्योंकि हमारी सरकार एमएसपी पर धान खरीद रही है. इसके लिए केंद्र ने कभी कोई धन नहीं दिया.

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