फैक्ट चेक: क्या जोमैटो के मालिक को हिन्दू ग्राहकों की जरूरत नहीं?

अमित शुक्ल नाम के एक आदमी ने अपना जोमैटो आर्डर केवल इसलिए कैंसिल कर दिया था क्योंकि डिलीवरी बॉय मुस्लिम था. ये बात अमित ने अपने ट्विटर अकाउंट से साझा की थी. इसके बाद जोमैटो ने अमित के ट्वीट का जवाब देते हुआ लिखा था कि खाने का कोई धर्म नहीं होता, खाना खुद ही एक धर्म है.

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आजतक फैक्ट चेक

दावा
जोमैटो के फाउंडर दीपिंदर गोयल ने कहा है कि उन्हें हिन्दू ग्राहक नहीं चाहिए.
सच्चाई
हमें ऐसा कोई बयान नहीं मिला जिसमें दीपिंदर ने ऐसा कहा हो.

अर्जुन डियोडिया

  • नई दिल्ली,
  • 03 अगस्त 2019,
  • अपडेटेड 3:14 PM IST

ऑनलाइन फूड सर्विस वेबसाइट जोमैटो के गैर-हिंदू डिलिवरी बॉय से खाना न लेने पर हुआ विवाद थमने का नाम नहीं ले रहा है. सोशल मीडिया पर वायरल एक पोस्ट के जरिए दावा किया जा रहा है कि कंपनी के फाउंडर दीपिंदर गोयल ने बयान दिया है कि उनकी कंपनी को हिन्दू ग्राहक नहीं चाहिए.

पोस्ट का आर्काइव वर्जन यहां देखा जा सकता है.

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दरअसल , कुछ दिनों पहले अमित शुक्ल नाम के एक आदमी ने अपना जोमैटो आर्डर केवल इसलिए कैंसिल कर दिया था क्योंकि डिलीवरी बॉय मुस्लिम था. ये बात अमित ने अपने ट्विटर अकाउंट से साझा की थी. इसके बाद जोमैटो ने अमित के ट्वीट का जवाब देते हुआ लिखा था कि खाने का कोई धर्म नहीं होता, खाना खुद ही एक धर्म है. जोमैटो के इस जवाब को सोशल मीडिया पर कई लोगों ने खूब सराहा था, वहीं कुछ लोगों ने इसकी आलोचना की थी.

इंडिया टुडे एंटी फेक न्यूज वॉर रूम (AFWA) ने पाया कि दीपिंदर के बयान को तोड़ मरोड़ कर पेश किया जा रहा है. हमें ऐसा कोई बयान नहीं मिला, जिसमें दीपिंदर ने कहा हो कि उन्हें हिंदू ग्राहक नहीं चाहिए.

इस बयान को सोशल मीडिया पर खूब शेयर किया जा रहा है. लोग इसे सही मानकर कंपनी के मालिक की जमकर आलोचना कर रहे हैं. ‘Hindu Samrat Modi’ नाम के एक फेसबुक पेज ने इस पोस्ट को एक अगस्त को शेयर किया था जिसे अभी तक 5700 से भी ज्यादा लोग शेयर कर चुके हैं.

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पड़ताल में सबसे पहले हमने दीपिंदर गोयल की सोशल मीडिया प्रोफाइल खंगाली. हमें दीपिंदर का ऐसा कोई बयान नहीं मिला जिसमें उन्होंने साम्प्रदायिक टिप्पणी की हो. हालांकि जब ये विवाद खड़ा हुआ था तब दीपिंदर ने एक ट्वीट जरूर किया था जिसका हिंदी में अनुवाद है-

“हमें भारत के विचार, अपने सम्मानित ग्राहकों और साथियों की विविधता पर गर्व है. हमें  ऐसा कोई भी व्यवसाय गवां देने का अफसोस नहीं होगा जो हमारे मूल्यों के आड़े आता हो.”

जोमैटो की तरफ से भी ऐसा कोई सांप्रदायिक बयान नहीं दिया गया है. इंटरनेट पर भी हमें ऐसी कोई मीडिया रिपोर्ट नहीं मिली जिसमें दीपिंदर गोयल या जोमैटो के इस तरह के बयान का ज़िक्र हो. अगर दीपिंदर ऐसा बयान देते तो वो एक बड़ी खबर होती और मीडिया में जरूर कवर होती.

हमने दीपिंदर गोयल से भी संपर्क साधने की कोशिश की, लेकिन खबर लिखे जाने तक उनकी तरफ से जवाब नहीं मिल सका. संपर्क होते ही इस खबर को अपडेट कर दिया जाएगा.

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