जालंधर में AIG की मां का कत्ल, जयपुर में DCP की सास की हत्या

दिल्ली एनसीआर में अक्सर बुजुर्गों के साथ अत्याचार, लूट और हत्या की घटनाएं सामने आती रहती हैं. लेकिन अब एक साथ दो राज्यों से बुजुर्ग महिलाओं की हत्या के मामले सामने आएं है. हैरानी की बात हैं कि दोनों महिलाएं पुलिस के आला अफसरों की रिश्तेदार हैं.

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जयपुर केस में पुलिस ने 5 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है जयपुर केस में पुलिस ने 5 लोगों को गिरफ्तार कर लिया है

परवेज़ सागर / शरत कुमार

  • नई दिल्ली,
  • 18 सितंबर 2018,
  • अपडेटेड 12:21 PM IST

दिल्ली एससीआर ही नहीं बल्कि बुजुर्ग देश में कहीं भी सुरक्षित नहीं हैं. इसकी ताजा मिसाल दो राज्यों में देखने को मिली. जहां पंजाब में एक एआईजी की मां का गला दबाकर हत्या कर दी गई तो वहीं जयपुर में एक डीसीपी की सास को बेरहमी के साथ कत्ल कर दिया गया. दोनों ही घटनाओं के पीछे लूट को वजह बताया जा रहा है.

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पंजाबः AIG की मां का कत्ल

पंजाब के जालंधर शहर में सोमवार की दोपहर पंजाब सशस्त्र पुलिस के अतिरिक्त पुलिस महानिरीक्षक सरीन कुमार प्रभाकर की 80 वर्षीय बुजुर्ग मां शीला रानी प्रभाकर घर में अकेली थीं. इसी दौरान अज्ञात बदमाशों ने उनके घर पर धावा बोल दिया और उनकी गला दबाकर हत्या कर दी. मौका-ए-वारदात की छानबीन के बाद पुलिस ने बताया कि वारदात को लूट के इरादे से अंजाम दिया गया है.

जानकारी के मुताबिक 80 वर्षीय शीला घर में अकेली ही रहती थीं. वारदात के दौरान बदमाशों ने उनके पहने हुए गहने भी लूट लिए. घटना की जानकारी मिलते ही एआईजी सरीन कुमार भी मां के घर जा पहुंचे. पुलिस ने इस संबंध में मामला दर्ज कर छानबीन शुरू कर दी है. मृतका के दो बेटे हैं और दोनों पुलिस में अफसर हैं.

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राजस्थानः डीसीपी की सास का मर्डर

जयपुर में डीसीपी संजीव भटनागर की सास की हत्या कर दी गई. हत्या का कारण लूट बताया जा रहा है. इस वारदात को कुख्यात पारदी गैंग ने अंजाम दिया. जिसका सरगना रतलाम निवासी मनीष पारदी है. पुलिस ने तेजी से कार्रवाई करते हुए इस मामले में सभी पांच आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया है.

पुलिस के रेणु पथ पर एमएलए क्वाटर्स में डीसीपी संजीव भटनागर की 72 वर्षीय सास पुष्पा बिसारिया रहती थी. कुछ बदमाशों ने उनके घर पर धावा बोलकर लूट की वारदात को अंजाम दिया. इसी दौरान विरोध करने पर बदमाशों ने बुजुर्ग महिला पुष्पा की बेरहमी से हत्या कर दी और मौके से फरार हो गए.

परजिनों ने इस संबंध में पुलिस में शिकायत दर्ज कराई. मामला एक बड़े अफसर के घर का था. लिहाजा पुलिस ने तेजी से मामले में तफ्तीश शुरू की. मुखबिरों के नेटवर्क की मदद से पुलिस को कुछ अहम सुराग हाथ लगे. उसी के सहारे पुलिस बादाम सिंह नामक एक शख्स तक जा पहुंची. आरोप है कि बादाम सिंह बदमाशों को शरण देता है.

पुलिस को पता चला कि वह अंधा होने का नाटक करता है और जयपुर में सड़क पर हर्बल मेडिसिन बेचता है. पुलिस ने उसके डेरे पर छापा मारकर 5 मोबाइल फोन और दूसरे राज्यों के सिमकार्ड बरामद किए. मोबाइल कॉल डिटेल के आधार पर पुलिस इस गैंग के सभी गुर्गों तक जा पहुंची.

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पुलिस ने झुंझुनू से गैंग के सरगना मनीष पारदी और चन्ना को गिरफ्तार कर लिया. पूछताछ में गैंग के मास्टरमाइंड 25 वर्षीय मनीष ने बताया कि वारदात से पहले उसने एमएलए क्वाटर्स की रेकी की थी. वारदात के लिए मनीष, दांडी और चन्ना रात को ऑटो से मानसरोवर होते हुए वहां पहुंचे थे और लूटपाट करने के बाद डेरे में चले आए थे. बाद में वे झुंझुनू के लिए रवाना हो गए थे.

पुलिस ने पारदी गिरोह को शरण देने वाले बादाम सिंह समेत उसकी पत्नी गुड्डी और बेटी नंदिनी को जयपुर में न्यू सांगानेर रोड पर प्रधान वाटिका मैरिज गार्डन के पीछे से गिरफ्तार किया है. वे कच्ची बस्ती में रहते थे. पूछताछ में पताचला कि आरोपियों ने लूट और कत्ल की वारदात के बाद दो घंटे तक शराब पी थी.

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